वजीरे आला रघुवर दास ने कहा कि छह महीने के अंदर रियासत में एक लाख तकर्रुरी होंगी। 34 हजार असातिज़ा, 10 हजार सिपाही, डाॅक्टर और दीगर ओहदे पर तकर्रुरी के लिए जल्दी ही इश्तेहार निकाला जाएगा। इनमें आदिम जनजाति बटालियन भी शामिल है। वहीं फाकाक़शी पर कंट्रोल के लिए करीब 14 हजार फाका कशी सखी बहाल की जाएंगी। साथ ही एक कमेटी भी बनेगी, जिसके सदर वजीरे आला व नायब सदर बोहबुद वज़ीर होंगे। उन्होंने कहा कि हर जिले में आईटी सेल की तशकील किया जाएगा।
आदिवासी नौजवानों को तरबियत देकर इससे जोड़ा जाएगा। वे इतवार को दुमका क्लब में मुनक्कीद डिवीज़नल सतही प्रोग्राम को खिताब कर रहे थे। उन्होंने कहा कि अपने नाम के मुताबिक के दास के तौर में आपकी खिदमत करूंगा। बाबू बनकर नहीं रहूंगा। वे हर महीने दो बार संथाल परगना आएंगे और आवाम की मसायलों को निपटाएंगे। सरकार गाँव के प्रधानों के साथ मिलकर चलना चाहती है।
वजीरे आला ने कहा कि हुकूमत जल्दी ही देही तरक़्क़ी कोनसिल की तशकील करेगी। इसमें ग्राम प्रधान, मुक़ामी लोग और इंतेजामिया अफसर शामिल होंगे। कोनसिल तरक़्क़ी का ब्लू प्रिंट तैयार करेगी ओर मंसूबों पर काम करेगी। गांवों को ई-गवर्नेंस से जोड़ा जाएगा।