जयललिता ने खटखटाया सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा

आमदनी से ज़्यादा दौलत जमा करने के मामले में चार साल की सजा पाई तमिलनाडु की साबिका वज़ीर ए आला व अन्नाद्रमुक चीफ जे जयललिता ने जमानत के लिए आज जुमेरात के रोज़ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटायी। जयललिता ने कर्नाटक हाई कोर्ट कि तरफ से उनकी जमानत की दरखास्त खारिज किए जाने को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है।

गौरतलब है कि हाई कोर्ट की सिंगल बेंच ने गुजश्ता सात अक्टूबर को साबिका वज़ीर ए आला की जमानत की दरखास्त खारिज कर दी थी। हालांकि, जयललिता की जमानत को लेकर वहां पहले शक के हालात बन गये थें और अदालत के अहाते में मौजूद उनके हामियों ने जश्न मनाना शुरू कर दिया था।

जयललिता की जमानत को लेकर यह हालात उस वक्त बन गई थी जब कुछ वकीलों ने बाहर आकर इस बात का इशारा किया था कि साबिका वज़ीर ए आला की जमानत की दरखास्त मंजूर हो गई है। उसके बाद अदालत के अहाते के बाहर जयललिता के हामियों ने आतिशबाजी शुरू कर दी थी और लड्डू बांटकर अपनी खुशी का इजहार किया था।

हालांकि, कुछ ही देर बाद यह हालात वाजेह होने पर कि जस्टिस चंद्रशेखर ने जमानत की दरखास्त खारिज कर दी है, वहां निराशा का माहौल फैल गया। हाई कोर्ट के फैसले के बाद ऐसी उम्मीद की जा रही थी कि वह अगले दिन ही सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगी, लेकिन फैसले की Certified copy नहीं मिल पाने के सबब बुध के रोज़ आली अदालत में दरखास्त दायर नहीं की जा सकी थी।