ज़रदारी से इस्तीफ़ा तलब किए जाने की तरदीद

ईस्लामाबाद 9 जनवरी (पी टी आई) हकूमत-ए-पाकिस्तान और ताक़तवर पाकिस्तानी फ़ौज के दरमयान मुसलसल कशीदगी के दौरान जो खु़फ़ीया मुरासला स्कैंडल के सिलसिला में पैदा होगया है, सदर-ए-पाकिस्तान आसिफ़ अली ज़रदारी ने कहा कि सयासी बोहरान की यकसूई केलिए किसी ने भी इन से मुस्ताफ़ी होने की ख़ाहिश नहीं की। उन्हों ने इन इत्तिलाआत की एहमीयत कम करने की कोशिश की कि फ़ौज ने उन्हें राह फ़रार की पेशकश करते हुए उन से मुस्ताफ़ी होने का मुतालिबा किया है। पाकिस्तानी नज़ाद अमरीकी ताजिर मंसूर एजाज़के मुबय्यना खु़फ़ीया मुरासला के बरसर-ए-आम इफ़शा के बाद पहली बार इंटरव्यू देते हुए सदर-ए-पाकिस्तान ने कहा कि ताहाल किसी ने भी इन से मुस्ताफ़ी होने की ख़ाहिश नहीं की है।

अगर वो ऐसी ख़ाहिश करें तो वो ज़राए इबलाग़ को इस की इत्तिला ज़रूर देंगे। सदर ज़रदारी ने मुबय्यना तौर पर मुंख़बा हुकूमत के ख़िलाफ़ इमकानी फ़ौजी बग़ावत के इंसिदाद के लिए हुकूमत अमरीका को एक खु़फ़ीया मुरासला रवाना करते हुए इमदाद तलब की थी जिस का अफ़शा पाकिस्तानी नज़ाद अमरीकी ताजिर मंसूर एजाज़ ने बरसर-ए-आम करदिया था। जिस की बिना पर हुकूमत और फ़ौज के ताल्लुक़ात कशीदा होगए थे। ख़बररसां टी वी चैनल जमीव न्यूज़ को इसी वाक़िया के बाद अव्वलीन इंटरव्यू देते हुए सदर ज़रदारी ने कहा कि इन के ख़्याल में पाकिस्तान में को गई भी शख़्स इतना सादा लौह नहीं होसकता कि इन से इस्तीफ़ा तलब करे।

मेरे इस्तीफ़ा से किसी को क्या हासिल होगा? उन्हों ने कहा कि वो अपने इख़्तयारात पहले ही पार्लीमैंट को मुंतक़िल करचुके हैं। ये इख़्तयारात पार्लीमैंट से कौन छीन सकता है? पाकिस्तान में ये क़ैस आराईयां गर्म हैं कि मुबय्यना मुरासला स्कैंडल के सिलसिला में फ़ौज सदर-ए-पाकिस्तान पर इस्तीफ़ा देने केलिए दबाॶ डाल रही है। इस पस-ए-मंज़र में ज़रदारी का तबसरा एहमीयत रखता है। ज़रदारी ने इन इत्तिलाआत को हंसी में उड़ा दिया कि फ़ौज ने इन से इस्तीफ़ा तलब करते हुए इस के इव्ज़ उन्हें महफ़ूज़ राहफ़रार की पेशकश की है।