जासूसी के आरोप में पाकिस्तानी अफसर को भारत छोड़ने का आदेश

नई दिल्ली।दिल्‍ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने खुफिया सूचना पर पाकिस्‍तानी उच्‍चायोग के एक अधिकारी मोहम्‍मद अख्‍तर को हिरासत में लिया है। टीवी रिपोर्ट्स के अनुसार, पकड़े गए अधिकारी के पास से सेना से जुड़े दस्‍तावेज बरामद किए गए हैं। अधिकारी के दो मददगारों- मौलाना रमजान, सुभाष को भी गिरफ्तार किया गया है।। टीवी रिपोर्ट्स के मुताबिक, विदेश मंत्रालय ने बासित से कहा है कि चूंकि डिप्‍लोमेट्स को इम्‍यूनिटी हासिल होती है, इसलिए संदिग्‍ध जासूस को गिरफ्तार नहीं किया जा सकता। मगर सरकार ने मोहम्‍मद अख्‍तर को देश छोड़ने का फरमान सुनाया है।मामले के संबंध में विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान उच्च आयुक्त अब्दुल बसित को समन कर बुलाया है।

दरअसल पुलिस ने पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में राजस्थान के दो लोगों को दिल्ली में गिरफ्तार किया था। उनसे मिली सुचना के आधार पर पुलिस ने उनके साथ ही पाकिस्तान उच्चायोग के कर्मचारी 35 वर्षीय महमूद अख्तर को भी हिरासत में लिया और उनके पास से गोपनीय रक्षा दस्तावज बरामद किए।

पुलिस ने बताया कि राजस्थान के नागौर के रहने वाले मौलाना रमजान और सुभाष जांगीड़ नाम के दो लोगों को रक्षा दस्तावेज चुराने के आरोप में गिरफ्तार किया गया। इन दोनों ने पूछताछ में पाकिस्तानी उच्चायुक्त में कार्यरत अख्तर का नाम लिया, जिन्हें वो खुफिया जानकारी मुहैया कराते थे। पुलिस ने बुधवार रात अख्तर को हिरासत में लेकर पूछताछ की। इस मामले पर पुलिस का कहना है कि वो आईएसआई का एजेंट है, लेकिन डेप्लोमेटिक इम्युनिटी हासिल होने की वजह से उसे छोड़ना पड़ा।

इससे पहले नंवबर 2015 में पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी से जुड़े जासूसों का पता चला था। तब इस मामले में थल और वायुसेना में कार्यरत कुछ लोगों सहित 10-12 लोगों को गिरफ्तार किया गया था। उनसे पूछताछ में पता चला था कि पाकिस्तानी उच्चायुक्त का कोई शख्स इस जासूसी में शामिल है। इस जानकारी के बाद से ही पाकिस्तानी मिशन के कुछ कर्मचारियों पर पुलिस नजर रखे हुए थी।