जेट एयरवेज़ की रियाद से मुंबई आने वाली फ़्लाईट में 158 मुसाफ़िरैन सवार थे लेकिन लैंडिंग के वक़्त तैय्यारा ( विमान) के बाएं बाज़ू के इंजन में आतिशज़दगी ( आग) के वाक़िया ( घटना) से दहशत तो ज़रूर फैली लेकिन किसी को कोई नुक़्सान नहीं पहुंचा ।
जेट एयर वेज़ का तैय्यारा ( विमान) टैक्सी वे पर था कि तब ही बाएं इंजन में आतिशज़दगी का मुआमला (मामला) सामने आया । पायलेट को फ़ौरी तौर पर इशारा कर दिया गया कि वो इंजन बंद कर दे और तैय्यारा (विमान) को रोक दे ,आग पर फ़ौरी (फौरन) क़ाबू पा लिया गया और मुसाफ़िरैन (यात्री) बहिफ़ाज़त उतर गए । आतिशज़दगी की वजूहात (कारण,वज़ह) की तहक़ीक़ात की जा रही है।