लड़की के साथ बुध की रात कुछ ट्रक ड्राइवरों ने जो दरिंदगी की, वह इंसानियत और मूआशरे को शर्मसार करने वाली वाकिया है। सनीचर को पुलिस की मौजूदगी में उसने आपबीती सुनाई। इस दरमियान एसएसपी उपेंद्र कुमार शर्मा ने कहा कि पूरे मामले की जांच कराई जाएगी। फिलहाल मेडिकल चेपकअप पूरा हो जाए। मुतासिरा ने पुलिस को बताया कि उसके साथ इजतेमाई आबरूरेज़ि हुआ। दरिंदों ने बारी-बारी से हवस का शिकार बनाया। शोर मचाने पर कोई नशीली चीज खिला बेहोश कर दिया।
अब भी वह पूरे होश में नहीं है। वाकिया से सहमी हुई है। उसके जिश्म पर जख्मों के निशान हैं। वह बिल्कुल ही नर्वस है। आवाज उसका साथ नहीं दे रही। लड़खड़ाते लफ्जों में वो दो-चार लफ्ज ही बोल पाती है और फिर सकते मे आ जाती है। पास में बैठी थाने की खातून कांस्टेबल उसे हिम्मत और हौसला देती है। तब कुछ बोल पाती है। पुलिस के मुताबिक वह किसी काम से घर से बाहर निकली थी। एक ट्रक ड्राइवर ने रास्ते चलती इस लड़की को खींचकर ट्रक में बिठाया। आगे चलकर कुछ दीगर ड्राइवर भी साथ हो लिए। सब उसपर जानवर की तरह टूट पड़े। मनमानी की। नोंचा-खरोचा। उसकी अस्मत को रौंद डाला। वह दर्द से छटपटाती और कराहती रही, लेकिन किसी को उस पर तरस नहीं आई।
दो दिनों तक उसे वहशीपन का शिकार बनाते रहे। जब जी भर आया तो चलते ट्रक से सड़क पर फेंक कर निकल लिये। दूसरे दिन होश आने के बाद यह लड़की खुद को अस्पताल में पायी। खबर के मुताबिक पाँच लोगों ने उसके साथ इज़तेमाई आबरूरेज़ि किया। यूपी के बस्ती से उठाया और दरभंगा के बेला इलाके में मरने के लिये फेंक दिया। दूसरे दिन सुबह कुछ लोगों ने उसे वहां छटपटाते देखा। उसी हालत में लोगों के कौतूहल और तमाशे का मर्कज़ बनी रही। लेकिन तभी भीड़ के दरमियान से कोई आगे बढ़ा और उसके जिस्म पर कपड़ा डाल दिया। उसने इनसानियत का तारूफ़ देते हुए मुतासिरा को अस्पताल पहुंचाने में पहल की।