डिजिटल होगा हर गांव, भारत बनेगा तकनीक हब

वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बृहस्पतिवार को बजट भाषण में डिजिटल लेन-देन को सुरक्षित बनाने के लिए ब्लॉकचैन तकनीक को बढ़ावा देने की बात कही तो क्रिप्टोकरेंसी को पूरी तरह गैरकानूनी करार दिया गया। वहीं कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) के लिए एक राष्ट्रीय योजना शुरू की जाएगी।

डिजिटल इंडिया का बजट भी दोगुना कर दिया गया है। सबसे ज्यादा जोर भारत नेट के तहत ढाई लाख ग्राम पंचायतों को ब्राडबैंड से जोड़ने पर दिया गया है। इसके लिए दूरसंचार विभाग को दस हजार करोड़ का भारी-भरकम बजट आवंटित किया गया है।

वित्त मंत्री ने बताया कि भारत नेट के प्रथम चरण में अब तक एक लाख ग्राम पंचायतों को जोड़ा जा चुका है। इससे ढाई लाख गांवों तक ब्रांड बैंड पहुंच चुका है। इसके अलावा सरकार पांच लाख वाई-फाई हॉटस्पॉट बनाएगी, जिससे पांच करोड़ ग्रामीण लोगों को ब्राडबैंड सुविधा मिल सके।

उन्होंने यह भी बताया कि सरकार कम नगदी वाली अर्थव्यवस्था को बढ़ावा दे रही है। खासकर नवंबर 2016 को हुई नोटबंदी के बाद से। कैशलेस को बढ़ावा देने के लिए जनधन योजना के तहत खोले गए बैंक खातों को असंगठित क्षेत्र से जोड़ा जाएगा।

होंगे ये बदलाव
1.5 लाख नई ग्राम पंचायतों को मार्च, 2019 तक ग्रामीण भारत से जोड़ा जाएगा
1 लाख ग्राम पंचायतों को जोड़ा जा चुका है ब्राडबैंड से
10 हजार करोड़ दिए गए भारत नेट के लिए
100 एमबीपीएस ब्राडबैंड उपलब्ध कराया जाता है ग्राम पंचायत को भारत नेट के तहत दूरसंचार विभाग की ओर से
5 लाख वाई-फाई हॉटस्पॉट बनाए जाएंगे ग्रामीण भारत के लिए
5 करोड़ ग्रामीण लोगों को इंटरनेट से जोड़ने का लक्ष्य

वित्त मंत्री ने बताया कि देश में नई डिजिटल तकनीक जैसे मशीन लर्निंग, कृत्रिम बुद्धिमत्ता और इंटरनेट ऑफ थिंग्स के विकास और उसे अपनाने के लिए वित्त मंत्रालय विज्ञान एवं तकनीकी विकास विभाग के लिए डिजिटल इंडिया के तहत फंड बढ़ाकर 3073 करोड़ कर रहा है। डिजिटल इंडिया योजना के साथ सरकार डिजिटल बदलाव पर ध्यान केंद्रित कर रही है, जिससे तकनीकी लाभ के जरिए देश को एक नया आकार देकर सशक्तीकरण किया जा सके।

नीति आयोग का एआई प्रोग्राम
वित्त मंत्री ने बताया कि सरकार का थिंक टैंक नीति आयोग जल्द ही एक राष्ट्रीय योजना लांच करेगा इसमें कृत्रिम बुद्धिमत्ता संबंधित शोध एवं विकास और इसके एप्लिकेशन पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। वहीं विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग रोबोटिक्स, एआई, डिजिटल उत्पादन और डाटा विश्लेषण और इंटरनेट ऑफ थिंग्स पर एक मिशन की शुरुआत करेगा। उन्होंने बताया कि एआई, इंटरनेट ऑफ थिंग्स और थ्रीडी प्रिंटिंग तकनीक के चलते वैश्विक अर्थव्यवस्था डिजिटल अर्थव्यवस्था में बदल रही है। जेटली के मुताबिक डिजिटल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया, मेक इन इंडिया जैसी योजनाएं देश में खुद को ज्ञान और डिजिटल सोसाइटी के रूप में स्थापित हो रही हैं।

साइबर तकनीक पर ध्यान
बजट में साइबर तकनीक का जिक्र करते हुए सेंटर्स ऑफ एक्सीलेंस बनाने की बात कही गई है। यह सेंटर नई तकनीक जैसे एआई, मशीन लर्निंग, इंटरनेट ऑफ थिंग्स, बिग डॉटा और ब्लॉकचेन पर काम करेंगे।

चेन्नई में 5-जी सेंटर
नई तकनीक को बढ़ावा देने, खासकर 5-जी तकनीक और उसे अपनाने के लिए टेलीकॉम मंत्रालय आईटी मद्रास के साथ मिलकर चेन्नई में 5-जी सेंटर स्थापित करेगा।

बिटकॉइन जैसी क्रिप्टोकरेंसी गैरकानूनी करार
सरकार ने क्रिप्टोकरेंसी का विरोध किया है क्योंकि इसका इस्तेमाल मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकी फंडिंग में हो सकता है। वित्त मंत्री ने बजट भाषण में कहा कि सरकार क्रिप्टोकरेंसी को कानूनी नहीं मानती है। हम इसके गैरकानूनी इस्तेमाल को रोकने के लिए हर कदम उठाएंगे। आरबीआई पहले ही इसे गैरकानूनी करार दे चुकी है। उन्होंने बताया कि वर्चुअल करेंसी संबंधी समस्याओं से निपटने के लिए आर्थिक मामलों के मंत्रालय ने एक विशेषज्ञ कमेटी बनाई थी। समिति रिपोर्ट दाखिल कर चुकी है और उसे जांचा भी जा चुका है।