नोटबंदी को लेकर तरह तरह की बातें की जा रही थी। इस बीच भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने दावा किया है कि मोदी सरकार ने सत्ता संभालते ही नोटबंदी के जरिये काला धन पर लगाम लगाने की तैयारी शुरू कर दी थी। उन्होंने यह भी दावा किया कि इस फैसले के बाद ही पाकिस्तान में नकली नोट बनाने वाले गिरोह के मुखिया को आत्महत्या करनी पड़ी।
शुक्रवार को शुरू हुई राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के उद्घाटन भाषण में शाह ने कहा कि लोकसभा चुनाव में भाजपा को मिला जनादेश महज शासन करने के लिए नहीं देश में बदलाव लाने के लिए भी है। गौरतलब है कि शाह ने ऐसे समय में ढाई साल से नोटबंदी की तैयारी का दावा किया है जब विपक्ष नोटबंदी के फैसले के बाद नियमों में 60 से अधिक बार हुए बदलाव पर सरकार की आलोचना कर रहा है। विपक्ष का आरोप है कि मोदी सरकार ने पूरे देश को सीधे प्रभावित करने वाले इस फैसले को लागू करने से पूर्व तैयारी नहीं की।
उत्तर प्रदेश सहित पांच राज्यों में होने जा रहे विधानसभा चुनाव के साये में हो रही इस बैठक में शाह ने कहा कि शासन संभालते ही खुद प्रधानमंत्री ने इसकी तैयारी शुरू कर दी थी। इसी कारण न सिर्फ करोड़ों की संख्या में जनधन बैंक खाते खोले गए, बल्कि बचत खाताओं की संख्या 147 करोड़ और मोबाइल इस्तेमाल करने वालों की संख्या 109 करोड़ हो गई। अर्थव्यवस्था में नकदी के चलन को कम करने की दिशा में भी लगातार ठोस प्रयास किए गए।
शाह ने इस फैसले से आतंकवाद, नकली नोट, हवाला कारोबार, कालाधन पर एक साथ चौतरफा हमले का दावा किया। उन्होंने कहा कि नोटबंदी के कारण नकली नोट के व्यापार को कितना नुकसान पहुंचा इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पाकिस्तान में इस गिरोह के आका ने आत्महत्या कर ली।