तेलंगाना की तशकील तक ख़ुशी का इज़हार ना किया जाये

कांग्रेस वर्किंग कमेटी की जानिब से तेलंगाना के मुताल्लिक़ फ़ैसला बाद इलाक़ा तेलंगाना में पेश आए जश्न पर अपने रद्द-ए-अमल काइज़हार करते हुए कहा कि तशकील तेलंगाना तक किसी भी किस्म की ख़ुशी से बाज़ रहने पर ज़ोर देते हुए इन्क़िलाबी गुलूकार ग़दर ने कहा कि माज़ी के तजुर्बात से हमें सबक़ हासिल करना चाहीए।

मिस्टर ग़दर की क़ियामगाह पर एस सी एस टी बी सी मुस्लिम फ्रंट से मुलाक़ात के दौरान उन्हों ने कहा कि का बीनी वुज़रा की कमेटी की जानिब से अलैहदा तेलंगाना बिल की तर्तीब और पार्लीयामेंट में बिल की पेशकश के इलावा सदर जमहूरीया हिंद की बिल पर दस्तख़त और सदर जमहूरीया हिंद की जानिब से मुक़र्ररा वक़्त के अंदर रियास्ती असेंबली में बिल के पास होने तक कांग्रेस पर किसी भी किस्म का भरोसा नहीं किया जा सकता।

उन्हों ने कहा कि तेलंगाना रियासत की तशकील अख़िरी मराहिल में है और अब वक़्त है कि हम मुस्लिम और दलित इत्तिहाद के फ़रोग़ के ज़रीया आला ज़ात वालों की इजारादारी को ख़त्म करके इक़तिदार को अपने हाथों में लें।

उन्हों ने कहा कि हज़ारों सालों से दलित दबाये और कुचले जा रहे हैं जबकि चार सौ साल तक इस मुलक पर हुक्मरानी करनेवाली मुस्लिम क़ौम भी सयासी साज़िशों के ज़रीया पसमांदगी की मिसाल बनी हुई है।उन्हों ने कहा कि मुसलमानों और दलित तबक़ात के हाथों में इक़तिदारकी बागडोर दोनों तबक़ात की हालात ज़ार में तबदीली की वजहा बनेगी।

बादअज़ां मिस्टर ग़दर ने वफ़द को ईद-उल-फ़ित्र की पुरख़ुलूस मुबारकबाद पेश करते हुए कहा कि मुसलमानों के हुक़ूक़ की बाज़याबी के लिए की जाने वाली हर जद्द-ओ-जहद में वो भर पर तआवुन करेंगे।