तेलंगाना के सरकारी मुलाज़िमतों में सीमांध्र मुलाज़िमीन की इजारादारी

मुल्की और ग़ैर मुल्की क़वानीन का इस्तिहसाल के बाद इलाक़ा तेलंगाना की सरकारी मुलाज़िमतों पर सीमांध्र मुलाज़िमीन की ग़ैरमामूली इजारादारी अलाहिदा रियासत तेलंगाना जद्द-ओ-जहद में शिद्दत की वजहा है।

सदर तेलंगाना गज़ीटेड ऑफीसरस एसोसिएशन देवी प्रसाद ने तेलंगाना रिसोर्स सेंटर के हफ़तावारी मुज़ाकरे से ख़िताब के दौरान ये बात कही।उन्होंने कहा कि तेलंगाना के काबिल और तजरुबेकार मुलाज़िमीन को नज़रअंदाज करते हुए सीमांध्र मुलाज़िमीन ने इलाके तेलंगाना के तमाम सरकारी शोबों के आला ओहदों पर क़बज़ा कर लिया जिस का सिलसिला आज तक जारी है।

उन्होंने कहा कि मुल्की क़ानून नाफ़िज़ होने के बाद सीमांध्र मुलाज़िमीन ने गै़रक़ानूनी तरीकके से तेलंगाना में रिहायशी सर्टीफ़िकेट हासिल किया और ख़ुद को तेलंगाना का मुल्की ज़ाहिर करते हुए सरकारी शोबों में मुलाज़िमत हासिल करने में कामयाबी हासिल की।

उन्होंने 1956 के बाद से लेकर अलाहिदा रियासत तेलंगाना की तक़सीम का अमल पूरा होने तक मुल्की और ग़ैर मुल्की क़वानीन के इस्तिहसाल की तहक़ीक़ात को लाज़िमी क़रार दिया।

उन्हों ने कहा कि रियासत की तक़सीम बिलख़सूस सरकारी शोबों में मुलाज़मत की तक़सीम में शफ़्फ़ाफ़ियत बरती गई तो यक़ीनी तौर पर नई रियासत तलंगाना में चार लाख से ज़ाइद नई मुलाज़मतों का तलंगाना के नौजवानों को मौक़ा मिलेगा। मिस्टर देवी प्रसाद ने अलैहदा तलंगाना की पहली हुकमरान सयासी जमात की ज़िम्मेदारीयों पर कहा कि सरकारी शोबों और मुलाज़मतों की तक़सीम में किसी भी किस्म की धांदली और नाइंसाफ़ी को रोकने की तमाम तर्ज़ुमा दारी मज़कूरा सयासी जमात पर आइद होगी।

रियासत की तंज़ीम जदीद के मौके पर मुलाज़िमतों की तक़सीम का अमल के उनवान से मुनाक़िदा तेलंगाना रिसोर्स सेंटर के 120 वीं मुज़ाकरे में तेलंगाना के मुख़्तलिफ़ सरकारी शोबों से ताल्लुक़ रखने वाले सरकारी मुलाज़िमीन के अलावा सैंकड़ों तेलंगाना हामीयों ने भी शिरकत की।