मर्कज़ी हुकूमत की जानिब से तेलंगाना मसले पर कुल जमाअती इजलास में हर पार्टी से दो नुमाइंदों को मदऊ किए जाने पर तेलंगाना हामियों में शदीद नाराज़गी पाई जाती है। तेलंगाना पोलीटिक्ल जवाइंट एक्शन कमेटी ने मर्कज़ के इस फैसले को तेलंगाना अवाम के साथ एक धोखा क़रार दिया।
जे ए सी के सदर नशीन प्रोफेसर कोदंड राम ने अख़बारी नुमाइंदों से बात चीत करते हुए कहा कि मर्कज़ ने फिर एक बार तेलंगाना मसले पर अवाम को धोख देने की कोशिश की है। उन्होंने कहा कि कुल जमाअती इजलास में हर पार्टी से दो नुमाइंदों को मदऊ करने का मतलब साफ़ है कि मर्कज़ इस मसले की यकसूई में संजीदा नहीं है।
उन्होंने कहा कि अगर हुकूमत वाक़ई तेलंगाना मसले की यकसूई में संजीदा है तो उसे चाहिए कुल जमाअती इजलास के बजाय 9 दिसम्बर को किए गए ऐलान के मुताबिक़ अलहदा रियासत की तशकील का अमल शुरू करे। कोदंड राम ने सयासी जमातों से मुतालिबा किया कि वो कुल जमाअती इजलास में तेलंगाना पर अपना वाज़ेह मौक़िफ़ ज़ाहिर करे।
उन्हों ने कहा कि 26 डिसमबर तक तमाम सियासी जमातों तेलंगाना पर अपना मौक़िफ़ वाज़ेह कर देना चाहीए वर्ना 27 डिसमबर को जे ए सी गैर वाज़ेह मौक़िफ़ रखने वाली जमातों के ख़िलाफ़ सख़्त एहतिजाज करेगी ।
उन्होने बताया कि कुल जमाअती इजलास से क़ब्ल सयासी जमातों पर दबाव बनाने के लिए जे ए सी ने दीगर जमाअतों के साथ मिल कर एक हिक्मत-ए-अमली तय्यार की है।