तेल की क़ीमतें मज़ीद गिरने का इमकान

आलमी मंडी में मंगल को तेल की क़ीमतों में पाँच फ़ीसद कमी के बाद मामूली बेहतरी आई, लेकिन इक़्तिसादी माहिरीन आलमी सतह पर तेल की पैदावार में मुतवक़्क़े इज़ाफे़ और एशियाई ममालिक की मईशतों में कुसादबाज़ारी की वजह से तेल की क़ीमतों के मज़ीद गिरने की पेशनगोई कर रहे हैं।

तेल बरामद करने वाले मुल्कों की मजमूई तेल की पैदावार इस बरस जुलाई में गुज़िश्ता कई बरसों के मुक़ाबले में बुलंद तरीन सतह पर रही। ईरान अगर इक़्तिसादी पाबंदीयों के उठाए जाने पर अपनी मजमूई पैदावार में पाँच हज़ार बैरल यौमिया का इज़ाफ़ा करता है तो आलमी पैदावार मज़ीद बढ़ जाएगी।

ऐसे में जब अमरीका की तेल की पैदावार रिकार्ड सतह पर है और चीन की मईशत सुस्त रवी का शिकार है, पीर को तेल की आलमी क़ीमत गुज़िश्ता छः बरस में इंतिहाई कम हो गई और जनवरी 2015 के बाद पहली मर्तबा क़ीमत 50 डॉलर से भी नीचे गिर गई।