तो फिर जम्मू-कश्मीर से हाथ धो बैठेगा हिंदुस्तान : उमर

जम्मू-कश्मीर के वज़ीर ए आला उमर अब्दुला ने कहा कि अगर आईन की आर्टीकल 370 को हटाया गया तो जम्मू-कश्मीर हिंदुस्तान का हिस्सा नहीं रह पाएगा।

अब्दुल्ला ने पीएमओ में रियासती वज़ीर जितेन्द्र सिंह के बयान के जवाब में कहा कि पीएमओ में नए रियासती वज़ीर जितेंद्र सिंह ने मंगल के रोज़ नई हुकूमत के लिए पहला तनाजा उस वक्त खडा कर दिया जब उन्होने कहा नरेन्द्र मोदी की हुकूमत जम्मू कश्मीर में लागू आर्टिकल 370 पर बहस करने के लिए तैयार है। साथ ही उन्होंने कहा कि उन लोगों को भी राजी करने की कोशिश की जाएगी जो इसे हटाने के खिलाफ हैं।

इसके फौरन बाद रियासत के पीएम उमर अब्दुल्ला ने वज़ीर के बयान का सख्त एहतिजाज किया और ट्वीट कर कहा, पीएमओ में नए रियासती वज़ीर ने कहा है कि आर्टिकल 370 को हटाने के लिए अमल/बातचीत शुरू हो गई है। वाह! बहुत जल्दी अमल शुरू हुआ इस मामले मे। नहीं मालूम की कौन इस मामले में बोल रहा है। उन्होंने आगे कहा, मेरी बात का ध्यान रखते हुए इस ट्वीट को महफूज़ रख लें। या जम्मू कश्मीर हिंदुस्तान का हिस्सा नहीं रहेगा या फिर आर्टिकल 370 कायम रहेगा।

महज एक आर्टिकल 370 ही हिंदुस्तान और जम्मू कश्मीर के बीच आईनी कडी है। उमर ने कहा, इसे हटाने वालों को इसकी सही जानकारी नहीं होने के साथ साथ, ऐसा कहना एक गैर जिम्मेदाराना बयान है। सिंह ने दिसंबर में एक रैली में मोदी की तरफ से आर्टिकल 370 पर दिए बयान को दोहराते हुए उन्होंने कहा, पीएम और हुकूमत सरकार का इरादा है कि इस मामले में उन लोगों को भी समझाने की कोशिश की जाएगी जो इसे हटाने का एहतिजाज कर रहे हैं।

मंगल के रोज़ रियासती वज़ीर का काम संभालने के बाद सिंह ने कहा कि, अगर आर्टिकल 370 पर हम बहस नहीं करेंगे तो हम इसके हटाने का एहतिजाज कर रहे लोगों को कैसे समझाएंगे की इससे उन्हें फायदा नहीं, बल्कि नुकसान ही हुआ है।