साबिक़ वजीरे आला अर्जुन मुंडा ने कहा कि मुल्क में जम्हूरियत की बुनियाद हिलती हुई दिखायी दे रही है। यह बहरान की अलामत हैं। हिंदुस्तानी मुआइशत (इकॉनमी) में जर, जोरू और जमीन का अहम मुकाम है।
मुआईशत की काबीले रहम हालत है। मुल्क की ग्लोब्लिजेशन को बरकरार रखने के लिए फिक्र करने की ज़रूरत है। मिस्टर मुंडा पीर को रांची में सहफ़ियों से गैर रस्मी तौर से बात करते हुए कहा कि झारखंड में हुकूमत आम आवाम के लिए नहीं बनी है। आइंदा लोकसभा को जेहन में रख कर बेमेल इत्तेहाद किया गया है। झारखंड दावं पर लग गया है। यहां मोहरे को नहीं, शतरंज को ही दावं पर लगा दिया गया है। हुकूमत वैशाखी के सहारे खड़ी है।
मुल्क की दाखली सलामती और मुआइशत खतरे में है। इससे निजात दिलाने के लिए भाजपा जद्दो-जहद करेगी। मिस्टर मुंडा ने कहा कि झारखंड हुकूमत को काम करने के लिए पार्टी ने तीन महीने का वक़्त दिया है। इसके बाद हुकूमत के काम काज का अंदाज़ा कर आवाम के दरमियान रखा जायेगा।