दिल्ली का माहौल अब्तर , ताक़-जुफ़्त स्कीम हक़बजानिब

नई दिल्ली: साल 2015 के आख़िरी दो माह में हवा का मियार अब्तर रहा और ये हंगामी एक़्दामात को हक़बजानिब करता है, जैसे ताक़ और जुफ़्त (ऑड ऐंड इवन) सिस्टम जिसे दिल्ली को कामयाबी से चलाना चाहिए ताके आलूदा माहौल को घटाया जा सके, सबज़ माहौल से वाबस्ता एक इदारे ने आज ये बात कही।

मर्कज़ बराए साईंस और माहौलियात (सी एस‌ ई) ने दिल्ली पोल्युशन कंट्रोल कमेटी की जानिब से मुतवातिर जायज़े के सरकारी एयर क्वालिटी डेटा के अपने तजज़िये के नताइज जारी करते हुए बताया है कि किस तरह इस मौसम-ए-सरमा आलूदगी की सतहें गुज़िश्ता बरस के मुक़ाबिल अब्तर हुई हैं।

सी एस ई तजज़िया में कहा गया कि नवंबर और दिसम्बर 2015 दोनों ज़ुमरा संगीन में ज़्यादा तादाद में अय्याम ज़ाहिर करते हैं। संगीन क़ौमी हवाई मियार अशारिया के मुताबिक़ बदतरीन जुमरा होता है। नवंबर के 73 फ़ीसदी अय्याम इसी ज़ुमरे के तहत आए जबकि नवंबर 2014 में ये तनासुब 53 फ़ीसदी था।

दिसम्बर 2014 में कम अज़ कम 3 फ़ीसदी अय्याम अच्छे और इतमीनान बख़श जुमेरा में आए थे लेकिन दिसम्बर 2015 में कोई भी दिन एसा नहीं रहा। इस सुरमा अच्छा माहौलियाती मियार वाला एक भी दिन नहीं गुज़रा। सी एस ई ने कहा कि इस से एमरजेसी इक़दामात की मदाफिय‌त होजाती है जैसे ताक़ और जुफ़्त वाला निज़ाम जिसे दिल्ली को कामयाबी से चलाना चाहिए ताकि धुंद वाले दिनों में मुज़िर्रिसा रसाँ माहौल से होने वाले नुक़्सान को मुम्किना हद तक घटाया जा सके।