देश के लिए शहीद हुए मुस्लिम सैनिको की शहादत को मीडिया ने किया नज़रअंदाज़

प्रतापगढ़: एलओसी पर पलांवाला सेक्टर में आतंकी हमले में शहीद हुए उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ के दो मुस्लिम नौजवान इरशाद और सलमान को शहीदी सम्मान के साथ सुपुर्दे खाक किया गया. रविवार रात हुए आतंकी हमले में दोनों जवान शहीद हुए थे. दरअसल आतंकियों ने ग्रेफ कैंप को निशाना बनाया था. ग्रेफ का यह कैंप एलओसी से महज दो किमी दूरी पर है.

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नेशनल दस्तक के अनुसार, प्रतापगढ़ के दोनों नौजवान 25 दिसंबर को ही नौकरी पर गए थे. वहीं इस हमले में घायल जवान अब्दुल अजीज भी प्रतापगढ़ के रहने वाले हैं. इन दोनों शहीदों का शव जब प्रतापगढ़ पहुंचा तो लोगों के आंसु रोके नहीं रुक पाए.

इस मामले पर अशरफ हुसैन ने लिखा है…..
“हमारा खुन भी शामिल है इस मिट्टी में”
फिर सरहद पर हमारे दो वीर शहीद हो गए, फिर उन्हें सरकार और जनता भुला देगी, 20-21 साल की उम्र जिसमें भारतीय नौजवान दंगल फिल्म देखते हैं. इसी उम्र में प्रतापगढ़ के ये दोनों शेर सरहद पर अस्ल दंगल लड़ रहे थे.
इरशाद और सलमान ने ये साबित कर दिया कि जब जब भारतीय मुसलमानों पर उंगली उठाने की घिनावनी साज़िश की जाएगी तब तब ये सपूत खून का बलिदान देकर ये साबित कर देंगें कि हरीफों का हर दावा झूठा है.
सलाम करता हूं एै शहीदों। तुम पर नाज़ है हमें, तुम्हारी कुरबानियां सुनहरे हर्फ़ों से दर्ज की जायेगी. अल्लाह तुम्हारी मग़फिरत करे,और तुम्हें जन्नत में आला मक़ाम नसीब करे.