पाकिस्तान पर हमला आवर फ़ौजीयों पर मुक़द्दमा से अमरीका का इनकार

अमरीकी फ़ौज ने फ़ैसला किया है कि इस एन फ़ौजीयों में से किसी पर भी मुक़द्दमा नहीं चलाया जाएगा जो गुज़श्ता साल नवंबर में नाटो के फ़िज़ाई हमलों में शामिल थे जिन से 24 पाकिस्तानी फ़ौजी हलाक होगए थे, ताहम उन्हें महिकमा जाती कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। इस वाक़िया से पाकिस्तान और अमरीका के बाहमी ताल्लुक़ात अक़ल्ल तरीन सतह पर पहुंच गए थे।

दूसरे तहक़ीक़ाती कमीशन ने फ़ैसला किया है कि नाटो के पाकिस्तानी फ़ौजी चौकी पर फ़िज़ाई हमले में शामिल किसी भी अमरीकी फ़ौजी पर मुक़द्दमा नहीं चलाया जाएगा, ताहम उन्हें इस वाक़िया केलिए जवाबदेही करनी होगी। अमरीका महिकमा जाती कार्रवाई करते हुए उन से ब्यानात हासिल करचुका है जिन्हों ने इद्दिआ किया है कि उन्हों ने ख़ुद हिफ़ाज़ती इक़दाम के तौर पर फायरिंग की थी।

इस लिए उन्हें सज़ा नहीं दी जानी चाहीए। रोज़नामा न्यूयार्क टाइम्स ने तीन सीनीयर फ़ौजी ओहदेदारों के हवाले से ख़बर शाय की है कि उन्हें किसी भी फ़ौजी की फ़राइज़ की अंजाम दही में मुजरिमाना लापरवाही का कोई सबूत नहीं मिला। सीनीयर फ़ौजी ओहदेदार ने कहा कि सरहद पार मोहलिक फ़िज़ाई हमला अफ़सोसनाक वाक़िया था, लेकिन इस की तहक़ीक़ातके दौरान कई पेचीदगियां मंज़रे आम पर आई हैं जो अफ़्ग़ानिस्तान में नाटो की मुहिम के सिलसिले में हैं

। डसमबर में तहक़ीक़ात करने वाले एक अमरीकी ओहदेदार ने पिता चिल्लाया कि अमरीकी और पाकिस्तानी फ़ौजी दोनों ही इस मोहलिक फायरिंग के तबादले में क़सूरवार थे, ताहम कहा कि पाकिस्तानीयों ने पहले फायरिंग शुरू की थी, और दो सरहदीचौकीयों से नाटो हैली कापटरस पर फायरिंग की गई थी। जवाबी फायरिंग सिर्फ ख़ुद हिफ़ाज़ती इक़दाम था।