पुलिस को चकमा देने के लिए धनंजय करता था दूसरों का फोन इस्तेमाल

हिंदू राष्ट्र सेना (एचआरएस) के सदर धनंजय देसाई पुलिस निगरानी को धोखे में रखने के लिए अपने दिगर मुश्तबा साथियों से दूसरे लोगों के मोबाइल फोन से बात करता था और ह्वाट्सऐप पर पैगाम भेजता था। देसाई पर अपने तंज़ीम के कारकुनो को एक खुसूसी तबके के लोगों को निशाना बनाने व दंगा करने के लिए उकसाने का इल्ज़ाम है। उसी तनाज़े में आइटी ग्रेजुएट मोहसिन शेख का कत्ल हुआ था। यह बात जांच के दौरान सामने आई है।

पुणे पुलिस देसाई की इस बुनियाद पर और रिमांड पाने में नाकाम रही कि अभी यह जांच करनी है कि वह तंज़ीम को माली मदद करता था और उसके मुंबई वाके विले पार्ले वाके दफ्तर की तलाशी लेनी है।

जुमेरात को देसाई व इस मामले में गिरफ्तार दिगर 20 मुल्ज़िमों को 26 जून तक अदालती हिरासत में भेज दिया। देसाई को मंगल की रात मोहसिन शेख के कत्ल केस में गिरफ्तार किया गया था। दो जून को उसका कत्ल हुआ था । बुध के रोज़ एक दिन के लिए उसे पुलिस हिरासत में भेजा गया था।