नई दिल्ली । 9 अप्रैल (पी टी आई) बी जे पी के जनरल सैक्रेटरी अमीत शाह को राहत पहुंची जबकि सुप्रीम कोर्ट ने आज सी बी आई को उनके ख़िलाफ़ तुलसी राम प्रजापति क़तल मुक़द्दमे की समाअत अलहदा तौर पर करने की दरख़ास्त मुस्तर्द करदी और कहा कि इस मुक़द्दमे को सुहराबुद्दीन शेख़ जाली एनकाउंटर मुक़द्दमे के साथ मुंसलिक कर दिया जाये।
सुप्रीम कोर्ट की एक बंच ने जिस की सदारत जस्टिस पी स्तासीवम कररहे थे, कहा कि प्रजापति और सुहराब उद्दीन दोनों के क़तल एक ही साज़िश का हिस्सा थे इस लिए अलहदा तौर पर मुक़द्दमे की समाअत दोनों मुक़द्दमात केलिए नहीं की जा सकतीं। अमीत शाह चीफ़ मिनिस्टर गुजरात नरेंद्र मोदी के क़रीबी साथी हैं और जेल में सुहराब उद्दीन क़तल के सिलसिले में 3 माह गुज़ारने के बाद ज़मानत पर रिहा किए गए हैं उन्हें दुबारा सुहराब उद्दीन मुक़द्दमे में सी बी आई की जानिब से गिरफ़्तारी का ख़तरा लाहक़ है।
सी बी आई कोशिश कररही है कि उनके ख़िलाफ़ अलहदा फ़र्द-ए-जुर्म दाख़िल किया जाये। सुप्रीम कोर्ट का हुक्म अमीत शाह की दरख़ास्त पर जिस में उन्होंने सी बी आई की जानिब से प्रजापति क़तल मुक़द्दमे में अलहदा फ़र्द-ए-जुर्म दाख़िल करने का इरादा किया था, इमतिना आइद कर दिया गया है।
सी बी आई ने फ़र्द-ए-जुर्म में अमीत शाह और दीगर 19 पर इल्ज़ाम आइद किया है की उन्होंने क़तल, फ़ौजदारी साज़िश, शहादतों को तलफ़ करदेने वग़ैरा जराइम का इर्तिकाब किया है। अमीत शाह सुहराबुद्दीन शेख़ और उसकी बीवी कौसर बी की हलाकत के कलीदी मुल्ज़िम हैं।
उन्हें मुल्ज़िम नंबर एक क़रार दिया गया गया है और प्रजापति के फ़र्ज़ी एनकाउंटर मुक़द्दमे की साज़िश का सरग़ना क़रार दिया गया है। उन्हें छापरी देहात में मालिन पर के इलाक़ा कांटा के क़रीब 28 दिसम्बर 2006-को क़तल किया गया था। सी बी आई ने कहा कि प्रजापति सुहराबुद्दीन मुक़द्दमे में गवाह थे और उनका क़तल एक वसीअ तर साज़िश का हिस्सा था, जिस में अमीत शाह को उस वक़्त रियास्ती पुलिस इंतेज़ामीया के सरबराह थे, मुलव्विस थे।
सुहराबुद्दीन शेख़ और उनकी बीवी कौसर बी मुबय्यना तौर पर हैदराबाद से अग़वा करके गुजरात इन्सिदाद-ए-दहशत गर्दी उसको एड (ए टी ऐस) की जानिब से गुजरात मुंतक़िल किए गए थे और उन्हें नवंबर 2005 में एक फ़र्ज़ी एनकाउंटर में गांधी नगर के क़रीब हलाक करदिए गए थे।
प्रजापति सुहराबुद्दीन के मुआविन थे। उन्हें भी बादअज़ां ए टी उसने क़तल कर दिया था क्योंकि वो इस जोड़े के क़तल के ऐनी शाहिद थे। अमीत शाह को सी बी आई ने 25 जुलाई 2010को गिरफ़्तार करलिया था और वो सुहराबुद्दीन मुक़द्दमे के सिलसिले में अहमदाबाद की साबरमती जेल में 3 माह तक क़ैद रहे थे। इस मुक़द्दमे की समाअत मुंबई की अदालत मुंतक़िल करदी गई थी और सुप्रीम कोर्ट ने सी बी आई को आज़ादी दी थी कि वो प्रजापति मुक़द्दमे की भी वहां मुंतक़ली केलिए इजाज़त तलब करसकती है।