इस्लामाबाद की एक मुक़ामी अदालत ने फेसबुक पर जाली एकाऊंट बना कर एक ख़ातून को ब्लैक मेल करने के इल्ज़ाम में एक शख़्स को तीन साल क़ैद और 25 हज़ार रुपये जुर्माने की सज़ा सुनाई है।
पाकिस्तान में ये पहला मुक़द्दमा है जिसमें किसी शख़्स को मुजरिम मानते हुए सज़ा सुनाई गई है। पाकिस्तान में साइबर क्राईम ऐक्ट का नफ़ाज़ नहीं हुआ ताहम उस शख़्स को इलैक्ट्रॉनिक ट्रांजेक्टशन ऐक्ट के तहत तीन साल की सज़ा सुनाई गई है।
वफ़ाक़ी तहक़ीक़ाती इदारे यानी एफ़ आई ए के साइबर क्राईम सर्किल के एक अहलकार ने बताया कि रावलपिंडी के रिहायशी और पेशे के लिहाज़ से बस कंडक्टर आमिर क़य्यूम जनजूआ ने फेसबुक पर एकाऊंट बनाया और इस की इस्लामाबाद में एक बैनुल अक़वामी तालीमी इदारे की लड़की के साथ दोस्ती हो गई।