बानी जामिया निज़ामीया इलम ए कसबी और इलम-ए-लदुन्नी का सरचश्मा , मुफ़्ती ज़िया उद्दीन नक़्शबंदी

हैदराबाद / हज़रत शेख उल-इस्लाम आरिफ़ बिल्लाह इमाम अबू ल्बरकात हाफ़िज़ मुहम्मद अनवार उल्लाह फ़ारूक़ी बानी जामिया निज़ामीया अलैहि र्रहमा की शख्सियत मुसल्मानों के लिए एक अज़ीम तोहफ़ा है ।

आप की तहक़ीक़ी किताबें मिल्लत इस्लामीया के लिए बेश बहा सरमाया हैं । आप ने दीनी ख़िदमात अंजाम देने के लिए अपने दौर के तमाम ज़राए को इख्तेयार फ़रमाया । उस सिलसिला में आप ने कोई दक़ीक़ा फरो ग़ुज़ाशत ना किया और एक अज़ीम मुदब्बिर , मुस्लेह उम्मत और मूजद्दीन की हैसियत से मुल्क-ओ-मिल्लत की हर जिहत-ओ-हर ज़ावीया से इस्लाह फ़रमाई ।

इन हक़ायक़ का इज्हार मुफ़्ती सय्यद ज़िया उद्दीन नक़्शबंदी शेख उल्फिक़ा जामिया निज़ामीया ,बानी-ओ-सदर अब उल्हसनात इस्लामिक रिसर्च सेंटर ने बरोज़ इतवार मस्जिद अब उल्हसनात फूलबाग जहांनुमा में किया ।