बिन ब्याही मां के बच्चे की कीमत दस हजार!

पटना, 19 फरवरी: (सैयद नकी इमाम) मिलकियाना मोहल्ले के (बेऔलाद) आरजू और फैयाज आलम गुजश्ता पीर के दिन सोने की तैयारी कर रहे थे कि उन्हें घर के बाहर एक नोमौलूद के रोने की आवाज सुनाई दी। दरवाजा खोला तो चौखट पर कपड़ों में लिपटा एक खूबसूरत नन्हा बच्चा अपनी भूख को खत्म करने के लिए बिलख रहा था।

आरजू की ममता छलक पड़ी, बच्चे को गोद में ले चुप कराते हुए वह अपने शौहर के साथ आसपास उसके मां-बाप की घंटों खोज करती रही, पर कामयाबी नहीं मिली। थक हार खुदा की नेमत मान दोनों घर लाकर उसकी परवरिश में जुट गए। लेकिन एतवार को निजी अस्पताल की नर्स रिजवाना उनके घर आई और बच्चे के एवज में दस हजार रुपए देने या फिर बच्चा वापस करने का दबाव बनाने लगी।

शोरगुल के बाद मामला थाने जा पहुंचा है। पुलिस ने मामला दर्ज कर इसे बच्चे की अवैध खरीद-फरोख्त का मामला मान कर जांच शुरू कर दी है।

इब्तेदा तफ्तीश में पुलिस को पता चला है कि निजी अस्पताल में एक बिन ब्याही मां ने इस मासूम को जन्म दिया है। लोकलाज के डर से वह उसे अस्पताल में ही छोड़ गई। नर्स रिजवाना आरजू और फैयाज आलम के तकलीफ से वाकिफ थी, पैसे की लालच में रात दस बजे वह बच्चे को को उनके घर की चौखट पर रख गई।

चार‍ पांच दिन में दोनों को जब बच्चे के तरफ से इंतेहा मुहब्बत होते देख लिया तो आज दस हजार रुपए वसूलने पहुंच गई। नहीं देने पर किसी दसरे को 50 हजार रुपए में बेचने की धमकी भी दी। उससे मिन्नतें व रोने से काम नहीं बना तो मामले को आसपास के लोगों तक ले गए।

लोगों ने इसकी लिखित जानकारी थाने को दिलवा दी। थाना इ‍ंचार्ज एन के रजक ने बताया कि यह बच्चा चोरी का रैकेट भी हो सकता है। पुलिस की टीम बन गई है। उन नर्सिग होम की जांच होगी जहां इस्काते हमल ( Abortion) , पैसे लेकर बिन ब्याही मां की जचगी (Delivery) कराने के बाद बच्चे को बेचने का धंधा होता है।

इस मामले में उन्होंने आरजू को बिना इज़ाज़त किसी को बच्चा न देने की हिदायत के साथ देखभाल करने की जिम्मेदारी सौंपी है। नर्स रिजवाना से पूछताछ की जाएगी।

——–‍‍‍ बशुक्रिया: जागरण