‘एक प्रोजेक्ट एक रेट’ को लेकर चल रहे तहरीक के दौरान बीमार हुए किसान कौशल किशोर पांडेय की जुमा की सुबह मौत हो गई। इसके बाद किसानों ने लाश को सहजानंद सरस्वती आश्रम के मेन गेट के पास रखकर बिहटा-औरंगाबाद रास्ता जाम कर दिया। इससे सुबह नौ बजे से शाम साढे़ तीन बजे तक ट्राफिक में रुकावट रहा। बिहटा बाजार की दुकानें भी बंद रहीं।
मुजाहिरा करने वाले ने मामले पर सियासत करने का इल्ज़ाम लगाते हुए वजीरे आजम और वजीरे आला के खिलाफ नारेबाजी की। उनका कहना था कि एक प्रोजेक्ट के लिए जमीन की एक बराबर शरह का फैसला लागू नहीं करने के फैसले से कौशल किशोर नाउम्मीद हो गए थे। इसी सदमे में जुमेरात को ब्लॉक दफ्तर का घेराव करने जाते वक्त उन्हें दिल का दौरा पड़ा। किसानों ने कौशल की तबीयत खराब होने के बाद आईजीआईएमएस में बेड खाली न होने का बहाना और पीएमसीएच में इलाज करने से मना किए जाने के मामले की जांच की भी मुतालिबात की।
इत्तिला पर दानापुर एसडीओ पहुंचे। किसानों ने मैयत के अहले खाना को 10 लाख रुपये, सरकारी नौकरी और आईआईटी गेट के पास कौशल की मूर्ति कायम करने की मांगें रखीं। दो घंटे चली इजलास के बाद डीएम एके सिंह व एसएसपी जितेंद्र राणा भी पहुंचे और किसानों से बात की। इसके बाद मैयत के अहले खाना को चार लाख मुआवजा, बीवी को पेंशन और कौशल की मूर्ति लगाने की एलान के बाद लाश उठाया गया।