बैंगलौर 26 जनवरी (पी टी आई) बरसर-ए-इक्तदार बी जे पी को राहत रसानी करते हुए जो अदम इस्तिहकाम के ख़तरा से दो-चार है, गवर्नर कर्नाटक ऐच आर भ्रदवाज ने आज कहा कि जगदीश शीटार वज़ारत को अब भी अक्सरीयत हासिल है। पार्टी के 13 अरकान असैंबली ने अपने इस्तीफ़ों का एलान कर दिया है लेकिन वो हुक्म देने जा रहे हैं कि एवान असैंबली में इस बात की जांच की जाये कि क्या हुकूमत दरहक़ीक़त अक़ल्लीयत में आचुकी है।
उन्होंने यौम जमहूरीया तक़रीब के बाद प्रैस कान्फ़्रैंस में कहा कि हुकूमत एक रुकन असैंबली की कमी से भी अक़ल्लीयत में आसकती है। वो नोटिस जारी करेंगे। अब जबकि 13 अरकान असैंबली मुस्ताफ़ी होचुके हैं, शीटार हुकूमत का दावा है कि वो अब भी अक्सरीयत में है। भ्रदवाज ने कहा कि वो शीटार की के मश्वरा पर अमल करेंगे जब तक कि वो चीफ़ मिनिस्टर बरक़रार हैं।
लेकिन उन की हुकूमत अगर अक्सरीयत खो दे तो वो कोई ग़ैर दस्तूरी काम नहीं करेंगे। शीटार हुकूमत की बक़ा के बारे में सवालात उठाए जा रहे हैं क्योंकि कर्नाटक जनता पार्टी के सरबराह बी जे पी के साबिक़ मर्द आहन बी एस यदि यूरप्पा के वफ़ादार 13 अरकान असैंबली ने अपने इस्तीफ़ा देने के फ़ैसले का एलान कर दिया है।
अरकान असैंबली की कोशिश है कि वो हुकूमत को मजबूर करदें लेकिन उन की ये कोशिश ज़ाए होगई जबकि स्पीकर असैंबली के जी बोपन्ना बैंगलौर में नहीं हैं। इस मसले पर कि गवर्नर को दरख़ास्तें पेश करते हुए हुकूमत के नाकाम होजाने का इद्दिआ किया जा रहा है और इस्तीफ़ों के मुक्तो बात की नकलें पेश की जा रही हैं, गवर्नर का ये तबसरा बी जे पी हुकूमत के लिए राहत रसानी से कम नहीं। क्योंकि इस से शीटार हुकूमत की उम्मीदें दुबारा जाग गई हैं।
कम अज़ कम वक़्ती तौर पर उन्हें राहत मिली है। यदि यूरप्पा बी जे पी वज़ारत से असैंबली इंतिख़ाबात से क़बल दस्तबरदार होने पर मजबूर होगए हैं। असैंबली इंतिख़ाबात माह मई में मुक़र्रर हैं।