मआशी इक़दामात से मालीयाती घाटे में कमी मुतवक़्क़े

सदर जमहूरीया प्रणब‌ मुख‌र्जी ने आज कहा कि मल्टी ब्रांड के रीटेल शोबा और शहरी हुआ बाज़ी में बैरूनी रास्त सरमायाकारी की इजाज़त देने जैसे इक़दामात से हुकूमत के मालीयाती ख़सारा में कमी लाने में मदद मिलेगी।

इन इक़दामात से मआशी पैदावार में इज़ाफ़ा होगा और मईशत मुस्तहकम होगी । प्रणब‌ मुख‌र्जी ने यहां इंडियन इंटरनेशनल ट्रेड फेर का इफ़्तिताह करने के बाद कहा कि हुकूमत ने हाल ही में मजमूई तौर पर कई पॉलीसी इक़दामात का ऐलान किया है ।

इस के पॉलीसी मंसूबे मुल्क की मईशत को बहाल करने और पैदावार को बढ़ाने में मुआविन साबित होंगे। हुकूमत की तरफ‌ से किए गए इस्लाहात और मआशी इक़दामात की अहमियत ये है कि मल्टी ब्रांड के रीटेल शोबा में एफ डी आई की इजाज़त दी गई है ।

शहरी हुआ बाज़ी शोबा को भी बैरूनी सरमाया मिलेगा तो अंदरून-ए-मुल्क मआशी सतह बेहतर होगी। हुकूमत ने सब्सीडी से होने वाले बोझ को भी कम करने का एलान किया है। इससे मालीयाती ख़सारा में तकरीबन कमी की तवक़्क़ो है ।

सदर जमहूरीया ने कहा कि हुकूमत ने मआशी पैदावार को बढ़ाने के लिए अपनी दिलचस्पी का इज़हार किया है । बजट बराए 2012-13 में मालीयाती ख़सारा अंदरून-ए-मुल्क पैदावार का 5.1 फ़ीसद बताया गया है ।

ताहम हुकूमत ने इस मालीयाती साल अंदरून-ए-मुल्क पैदावार का मालीयाती ख़सारा का निशाना 5.3 फ़ीसद मुक़र्रर किया है । सितंबर में काबीनी कमेटी बराए मआशी उमूर ने मल्टी ब्रांड रीटेल शोबा में 51 फ़ीसद एफ डी आई की इजाज़त दी और एर इंडिया ने बैरूनी एयरलाईनस की तरफ‌ से 49 फ़ीसद सरमायाकारी भी इजाज़त दी है ।

इस के अलावा पिछ्ले महिने ही हुकूमत ने इंशोरंस शोबा में सरमायाकारी के फ़ीसद को 26 फ़ीसद से बढ़ाकर 49 फ़ीसद किया है ।