मजहबी आजादी को बढ़ावा देने वाले आदेश पर हस्ताक्षर करेंगे डोनाल्ड ट्रंप

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मजहबी आजादी को बढ़ावा देने वाले कार्यकारी आदेश पर हस्ताक्षर कर सकते हैं। यह कार्यकारी आदेश गिरजाघरों और अन्य धार्मिक संगठनों को अधिक राजनीतिक सक्रियता की छूट दे सकता है। समाचार समूह सीएनएन के मुताबिक, इस आदेश में सरकार की आंतरिक राजस्व सेवा (आईआरएस) को जॉनसन संशोधन को ‘लागू करने में अधिकतम सावधानी बरतने’ का निर्देश देगा।

 

 

 

 

 

जॉनसन संशोधन के तहत गिरजाघरों और कर से छूट प्राप्त धार्मिक संगठनों पर राजनीतिक उम्मीदवारों का समर्थन या विरोध करने से रोक लगाई गई थी। एक वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी ने कहा कि इस कार्यकारी आदेश में घोषित किया जाएगा कि ट्रंप प्रशासन की नीति धार्मिक आजादी का संरक्षण और इसे तेजी से बढ़ावा देना है।

 

 

 

 

 

गौरतलब है कि इससे पहले अमेरिका की एक रिपोर्ट आई थी, जिसके मुताबिक भारत में मानवाधिकार समस्याओं में विदेशी सहायता प्राप्त गैर सरकारी संगठनों पर पाबंदी, भ्रष्टाचार और पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा अधिकारों का हनन सबसे महत्वपूर्ण हैं।

 

 

 

 

ट्रंप प्रशासन के दौरान पहली बार आई – द स्टेट डिपार्टमेंट 2016 कंट्री रिपोर्ट्स ऑन ह्यूमन राइट्स प्रेक्टिसे ने कहा कि साल 2016 में भारत में मानवाधिकार की दूसरी समस्याओं में लोगों का गायब होना, जेल में खराब हालात और अदालतों में लंबित मामलों की वजह से न्याय में मिल रही देरी प्रमुख हैं।

 

 

 

 

 

 

शुक्रवार (3 मार्च) को जारी की गई रिपोर्ट में कहा गया, ‘मानवाधिकार से जुड़ी सबसे अहम समस्याओं में पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा न्यायेतर हत्याओं, प्रताड़ना और दुष्कर्म समेत दूसरे तरह के हनन के मामलों, भ्रष्टाचार, जो व्यापक रूप से फैला है और अपराध के प्रति निष्प्रभावी प्रतिक्रिया में भी योगदान देता है, इनमें महिलाओं, बच्चों, अनुसूचित जाति और जनजाति के लोगों के खिलाफ अपराध भी शामिल हैं। इसमें लैंगिक, धार्मिक जुड़ाव और जाति या जनजाति के आधार पर सामाजिक हिंसा भी शामिल हैं।’