नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने बहरीन सरकार के अधिकारिओं के साथ हुई एक मीटिंग के दौरान देश में बढ़ रहे “मानव तस्करी” (हुमन ट्रैफिकिंग) के मामलों को लेकर एक समझौते पर दस्तखत किए, जिसमें दोनों देशों ने इस परेशानी से निजात पाने के लिए एक दुसरे का साथ देने का वादा किया। मीटिंग के दौरान खास तौर पर औरतों और बच्चों के अवैध करोबार को रोकने की जरुरत पर ज़ोर दिया गया है।
इस समझौते के सिलसिले में अगले महीने गृहमंत्री राजनाथ सिंह के दुबई दौरे के दौरान सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए जाने की भी उम्मीद है।
आपको बता दें को ड्रग, हथियार और बाकी तरह की तस्करी से काफी बड़ा और फैला हुआ तस्करी नेटवर्क “मानव तस्करी” का है। पूरी दुनिया से बच्चों (ख़ास तौर पर लड़कियां) और औरतों की बड़ी तादाद में तस्करी कर इन्हें गुलामों की तरह बेचा जाता है, इन्हें जिस्मफिरोशी के धंदे में धकेल दिया जाता है और इनसे कई और गैरकानूनी काम भी करवाये जाते हैं। इसके इलावा इनके शरीर के अंग जैसे की दिल, लिवर और किडनी वगेरा भी निकाल कर बेच दी जाती हैं।
इस समझौते में दोनों देशों की सरकारें इस बात पर सहमत हुई हैं कि:
- सभी तरह की मानव तस्करी, खासकर महिलाओं और बच्चों की तस्करी रोकने के लिए मिलकर काम किया जाएगा। दोनों देशों में जुर्म के इस धंधे को करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।
- निरोधक उपाय करके महिलाओं और बच्चों की तस्करी का खात्मा किया जाएगा और पीडि़त लोगों के अधिकारों की रक्षा होगी।
- तस्करी को रोकने के लिए दोनों देश एंटी ट्रैफिकिंग सेल और टीमें बनाएंगे ।
- इस तरह की तस्करी में जुटे लोगों की पहचान आपस में दोनों देश साँझा करेंगे।
- तस्करी के शिकार लोगों को हर सुविधा मुहैया करवाकर तेजी से घर वापसी का काम पूरा किया जाएगा।