मुंबई जातीय हिंसा: दलित संगठनों ने महाराष्ट्र बंद वापस लेने का किया ऐलान

मुंबई: एक जनवरी को पुणे के पास स्थित भीमा-कोरेगांव में दलित समाज के शौर्य दिवस पर भड़की जातीय हिंसा के बाद दलित संगठनों द्वारा पूरे महाराष्ट्र में बंद का ऐलान किया था। इस आन्दोलन में संविधान निर्माता डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर के पोते प्रकाश अंबेडकर भी थे। प्रकाश अंबेडकर ने बुधवार को को शाम महाराष्ट्र बंद ख़त्म करने का ऐलान किया है।

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एक जनवरी को पुणे के पास स्थित भीमा-कोरेगांव में दलित समाज के शौर्य दिवस पर भड़की जातीय हिंसा के विरोध में प्रकाश अंबेडकर सहित सैकड़ों दलित संगठनों द्वारा पूरे महाराष्ट्र में बंद का ऐलान किया गया था। जिसके बाद प्रकाश अंबेडकर ने महाराष्ट्र बंद को खत्म करने का ऐलान किया है, इस ऐलान के बाद से महाराष्ट्र में यातायात सेवाएँ फिर से बहाल हो गई है, और लोकल ट्रेन की सेवाएं फिर से बहाल हो गई हैं।

बता दें कि 250 से अधिक दलित संगठनों का महाराष्ट्र बंद का समर्थन किया था। इस प्रदर्शन के कारण मुंबई के लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। महाराष्ट्र के पुणे में दो दिन पहले हुई हिंसा और उसके बाद अलग-अलग इलाकों में हुये विरोध प्रदर्शनों के बाद आज बुलाये गये बंद के दौरान सरकारी परिवहन की बसों पर पथराव की छिटपुट घटनाओं को छोड़ दें तो स्थिति सामान्य है। बंद की वजह से कई स्कूलों तथा बाजारों को आज भी बंद रखा गया है।