मुझे हेमंत कुमार की आवाज़ बेहद पसंद है : दिलीप ताहिल

बाली वुड में करेक्टर रोल निभाने वाले दिलीप ताहिल का कहना है कि उन्होंने यूं तो फिल्मों में कामेडियन, वीलन और दीगर ( दूसरे) किरदार अदा किए हैं लेकिन ना जाने क्यों उन्हें हेमंत ब्रिर्जे और कमी काटकर की फ़िल्म टारज़न में निभाया गया रोल बेहद पसंद है।

आमिर ख़ान की पहली फ़िल्म क्यामत से क़्यामत तक में भी इन का रोल एहमीयत का हामिल था। मीडीया से गुफ़्तगु के दौरान जब उनसे उनके पसंदीदा गुलूकारों ( गायको) के बारे में पूछा गया तो उन्होंने बिला ताख़ीर हेमंत कुमार का नाम लिया और कहा कि आज भी जब वो अकेले होते हैं तो हेमंत कुमार के पुराने गाने सुनते हैं।

ख़ुसूसी तौर पर उन्हें फ़िल्म बन बादल बरसात का नग़मा ये नैन डरे डरे बीस साल बाद का बेक़रार करके हमें यूं ना जाइये ,
अनार कली का जाग दर्द‍ ए‍ इश्क़ जाग बेहद पसंद हैं। यूं तो मुहम्मद रफ़ी, मुकेश और किशोर कुमार भी उनके पसंदीदा गुलूकार ( गायक) हैं लेकिन हेमंत कुमार को वो इन तमाम गुलूकारों पर तर्जीह देते हैं।

दिलीप ताहिल ने कहा कि ये उनकी शख़्सी राय है। वो ये नहीं कहते कि हेमंत कुमार सब से अच्छे गुलूकार हैं लेकिन बात अपनी अपनी पसंद की है। आजकल के गुलूकारों में उन्हें सोनू निगम पसंद हैं। दिलीप ताहिल ने बताया कि यूं तो उनकी फ़िल्मी मस्रूफ़ियत ज़्यादा नहीं है लेकिन वो फिल्मों के इलावा स्टेज पर भी तवज्जा ( ध्यान) देते हैं और चुनिंदा ड्रामों में भी काम करते हैं।