मुस्लिम समाज अगर शिक्षा में पीछे रह जाएगा तो देश तरक्की नहीं करेगा: प्रकाश जावड़ेकर

मुंबई: मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने मुस्लिमों के लिए गुणवत्ता वाली शिक्षा पर जोर दिया है। शनिवार को मुंबई के भिवंडी में 20वें ऑल इंडिया उर्दू बुक फेयर का उद्घाटन करते हुए उन्होंने कहा कि मुस्लिम समाज अगर शिक्षा में पीछे रह जाएगा तो देश सही मायने में तरक्की नहीं कर सकेगा। उन्होंने कहा, “समाज का एक तबका अच्छा पढ़ेगा और दूसरा तबका पीछे रहेगा..इससे देश आगे नहीं बढ़ेगा।”

उन्होंने यह भी कहा कि मौजूदा सरकार ‘सबकी शिक्षा अच्छी शिक्षा’ में विश्वास रखती है। मानव संसाधन ने कहा, “मैं आपको बताना चाहता हूं कि मुझे किस चीज से तकलीफ होती है। हमें मुस्लिमों की शिक्षा के बारे में सोचना होगा। अगर सरकारी स्कूलों में अच्छी पढ़ाई नहीं होती है तो बच्चे 9वीं क्लास तक पहुंचते-पहुंचते पढ़ाई छोड़ देते हैं। मैं इसे रोकना चाहता हूं और मैंने इस चुनौती को स्वीकार किया है कि भारतीय भाषा के सभी सरकारी स्कूलों के क्वॉलिटी में हम सुधार करेंगे।”

उर्दू भाषा के विकास को गति देने के लिए जावड़ेकर ने एक पंच वर्षीय योजना के बारे में भी बात की। उन्होंने कहा कि मैंने इस दिशा में कई कदम उठाए हैं। उर्दू की किताबों और पत्रिकाओं का प्रकाशन शुरू किया गया है। और उर्दू समाचारपत्रों में विज्ञापन दिए जा रहे हैं। मैं एक ऑनलाइन उर्दू कोर्स शुरू करना चाहता हूं ताकि लोग घर बैठे इस भाषा को सीख सकें।

उन्होंने कहा कि मार्च 2017 में आरटीई में कुछ संशोधन भी किया जाएंगा जो शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर बनाने में मददगार साबित होगा। जावेडकर ने यह भी कहा कि बच्चों की एजुकेशन क्वॉलिटी पर ध्यान दिया जाएगा और इस बात का भी ध्यान रखा जाएगा। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि अरबी और फारसी भाषाओं को सिखाने पर भी ध्यान दिया गया है क्योंकि हमारे देश से कई लोग इन भाषाओं से जुड़े देशों में आते-जाते हैं।