हैदराबाद 15 दिसंबर: एसे वक़्त जबके तेलंगाना में मुस्लिम तहफ़्फुज़ात के लिए मुहिम दिन-ब-दिन शिद्दत इख़तियार करती जा रही है, हैदराबाद की सियासी जमात मजलिस ने महाराष्ट्रा में मराठा तबक़ा को तहफ़्फुज़ात फ़राहम करने का बेड़ा उठाया है। इस सिलसिले में नागपुर में विधान सभा के क़रीब महा मोरचा का एहतेमाम किया गया।
महाराष्ट्रा से ताल्लुक़ रखने वाले मजलिस के अरकाने असेंबली इमतियाज़ जलील और वारिस पठान के अलावा मुक़ामी मजलिस क़ाइदीन और मराठा क़ाइदीन ने शिरकत की। इस एहतेजाज के लिए एक कोर कमेटी तशकील दी गई है जिसमें मराठा तबक़ा के नुमाइंदों को शामिल किया गया है।
कौर कमेटी ने हुकूमत महाराष्ट्रा को जो मुतालिबात पेश किए हैं, इस में मुस्लिम और मराठा तबक़ा को तहफ़्फुज़ात, महाराष्ट्रा में मुकम्मिल नशा बिंदी और वक़्फ़ बोर्ड की तशकील जैसे मुतालिबात शामिल हैं।
तेलंगाना में चुनाव से पहले चन्द्रशेखर राव ने मुसलमानों को 12 फ़ीसद तहफ़्फुज़ात फ़राहम करने का वादा किया था लेकिन इक़तिदार के देढ़ साल गुज़रने के बावजूद अभी तक इस वादे पर अमल नहीं किया गया। 12 फ़ीसद तहफ़्फुज़ात के वादे पर अमल आवरी का मुतालिबा करते हुए रोज़नामा सियासत की तरफ से एक ग़ैर सियासी तहरीक का आग़ाज़ किया गया है जिसमें रियासत के मुसलमानों में शऊर बेदारी में अहम रोल अदा किया।
शहर और अज़ला में अवामी नुमाइंदों को याददाश्त की पेशकशी के बाद दूसरे मरहले में आम जलसों , रयालयों और ज़ंजीरी भूक हड़ताल का आग़ाज़ किया गया है। मुसलमानों का ये एहसास हैके असेंबली में मुसलमानों की नुमाइंदगी का दावा करने वाली जमात को चाहीए था कि वो खुल कर इस मुतालिबे के हक़ में मुहिम चलाती। बरख़िलाफ़ उस के हुकूमत से मुबय्यना खु़फ़ीया मुफ़ाहमत के सबब इस मुतालिबे पर मुस्लिम जमात ख़ामोशी इख़तियार की हुई है।
कौर कमेटी ने महाराष्ट्रा में ओक़ाफ़ी जायदादों के तहफ़्फ़ुज़ के लिए मुतालिबात पेश किए हैं। क्या ही बेहतर होता कि मुस्लिम जमात तेलंगाना में भी ओक़ाफ़ी जायदादों की तबाही को रोकने के लिए इसी तरह की जद्द-ओ-जहद करती। इस तरह महाराष्ट्रा में मराठा तबक़ा को तहफ़्फुज़ात और ओक़ाफ़ी जायदादों के तहफ़्फ़ुज़ के लिए दिलचस्पी का इज़हार किया जा रहा है। इसी तरह की दिलचस्पी तेलंगाना में भी दिखाई जाती तो बेहतर होता।