आंध्र प्रदेश के चीफ़ मिनिस्टर एन चंद्रबाबू नायडू ने तेलंगाना हुकूमत पर इल्ज़ाम लागया कि वो हर मसले पर तनाज़ा पैदा करने की कोशिश कररही है, और कहा कि वो तमाम हस्सास मसाइल पर तेलंगाना के अपने हम मंसब के चन्द्रशेखर राव से बातचीत के लिए बिलकुल तैयार हैं।
आंध्र प्रदेश और तेलंगाना जैसी दो रियासतों के दरमयान दरयाए कृष्णा के पानी की तक़सीम के मसले पर पैदा शूदा तनाज़ा का हवाला देते हुए चंद्रबाबू नायडू ने अख़बारी नुमाइंदों से कहा कि में हमेशा सच रहा हूँ, में हमेशा रज़ामंद-ओ-मुत्तफ़िक़ रहा हूँ, में के सी आर के साथ बैठने और तमाम मसाइल पर तबादला-ए-ख़्याल करने के लिए भी तैयार हूँ।
आंध्र प्रदेश के चीफ़ मिनिस्टर ने रेमार्क किया कि आंध्र प्रदेश तंज़ीम जदीद क़ानून ( जिस की रो से अलाहिदा रियासत तेलंगाना का क़ियाम अमल में आया था ) वाज़िह तौर पर कहा हैके दरयाए कृष्णा से 10 टी एमसी फ़ीट पानी आंध्र प्रदेश को जारी किया जाये ताकि वहां पीने के पानी की ज़रूरीयात की तकमील की जा सके। चंद्रबाबू नायडू ने कहा इस क़ानून के मुताबिक़ दरयाए कृष्णा इंतिज़ामी बोर्ड ने अहकाम जारी किए हैं।
में ये बात समझने से क़ासिर हूँ कि हुकूमत तेलंगाना आख़िर क्युं इस मसले पर ग़ैर ज़रूरी हव्वा खड़ा कररही है। चंद्रबाबू नायडू ने कहा कि हम बिलाशुबा ( दो रियासतों की हैसियत से) अलाहिदा ज़रूर हुए हैं लेकिन हमें बाहमी तआवुन की ज़रूरत है और आगे बढ़ना है। चंद्रबाबू नायडू ने दो रियासतों को मुख़तस किए जाने वाले ब्लॉक्स को अलाहिदा करने के लिए ख़ारदार फ़सील की तंसीब पर भी हुकूमत तेलंगाना को ग़लत टहराया और ब्रहमी के साथ पूछा कि आया ये हिंदुस्तान और पाकिस्तान है?।
चीफ़ मिनिस्टर ने माधापुर में गुरूकुल ट्रस्ट की ज़मीनात पर गै़रक़ानूनी इमारतों की इन्हिदामी के लिए भी टी आर ऐस हुकूमत को सख़्त तन्क़ीद का निशाना बनाया और कहा कि वो ( हुकूमत ) किसी माक़ूलीयत और पालिसी के बगै़र ही इन्हिदामी कार्यवाहीयां कररही है। वो लोग ये सब कुछ आख़िर किस लिए कररहे हैं?।