मैंने अपनी मर्ज़ी से इस्लाम क़बूल किया : रीना

नई दिल्ली : पाकिस्तानी प्रांत ख़ैबर पख्तूनख्वाह के चित्राल में कैलाश जनजाति की एक लड़की नौवीं में पढ़ने वाली रीना ने इस बात से इनकार किया कि उस पर किसी तरह का दबाव था। लड़की ने एक प्रेस कांफ्रेस कर कहा कि उसने अपनी मर्ज़ी से इस्लाम क़बूल किया है। उन्होंने कहा, “मैं पढ़ी लिखी हूं। मैंने इस्लामी किताबों का मुताला किया और उससे मुतासीर होकर ही मैंने इस्लाम क़बूल किया है ।

वहीं रीना के चेचरे भाई वली ख़ान ने बीबीसी को बताया कि उन्हें रीना के मुसलमान बनने पर कोई एतराज़ नहीं है लेकिन वो इस मामले पर और कुछ नहीं बोलना चाहते क्योंकि इससे चीज़ें ख़राब हो सकती हैं। रीना के धर्म परिवर्तन करने पर कैलाश और मुस्लिम समुदायों के बीच कई दिनों से तनाव था। दोनों पक्षों के बीच झड़प भी हुई जिसमें कई लोग जख्मी हो गए।

इसके बाद डीपीओ के मुताबिक दोनों समुदायों के दरमियान संघर्ष तेज हो गया था। चित्राल में बसे कैलाश जनजाति के लोगों की संस्कृति अनूठी है और उनकी परंपराएं मुक़ामी मुस्लिम आबादी से बिल्कुल अलग हैं। ये जनजाति यहां दो हजार साल से ज़्यादा वक़्त से रह रही है और इसकी आबादी तकरीबन चार हज़ार है।