यासिर अरफ़ात की मौत ज़हर से ही

फ़लस्तीनी रहनुमा यासिर अरफ़ात की बाक़ियात से हासिल किये गये नमूनों में ज़हरीले माद्दे पोलोनियम की सतह मामूल से 18 गुना ज़ाइद पाई गई जिससे साफ़ ज़ाहिर है कि उन्हें ताबकारी अजज़ा के ज़रिया ज़हर दिया गया था।

स्वित्ज़रलैंड के साईंसदानों ने ये बात बताई और कहा कि उन्हें 83 फ़ीसद यक़ीन है कि यासिर अरफ़ात को पोलोनियम ज़हर देकर हलाक किया गया। स्वित्ज़रलैंड के इन साईंसदानों ने फ़्रांस और रूस की टीम के साथ गुज़िशता नवंबर में यासिर अरफ़ात की क़ब्र की खुदवाई के बाद नमूने हासिल किए थे।

इस के इलावा उन के ज़ेर-ए-इस्तेमाल अशॉया का भी मुआइना किया गया था। उन्होंने बताया कि यासिर अरफ़ात की पसली और दीगर हड्डियों और मिट्टी में पोलोनियम की ग़ैरमामूली ज़्यादा सतह पाई गई। अल-जज़ीरा ने 108 सफ़हात पर मुश्तमिल ये रिपोर्ट हासिल की है, जिसमें इस बात की तौसीक़ की गई है कि यासिर अरफ़ात की मौत ज़हर से हुई।

इस दौरान यासिर अरफ़ात की बेवा सोहा अरफ़ात ने कहा कि 2004 में ताबकारी पोलोनियम के बाइस उनके शौहर की मौत हुई है। उन्होंने पैरिस में एक ख़बररसां एजेंसी को बताया कि इस हक़ीक़ी जुर्म और सियासी क़त्ल का पता चलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि माहिरीन की टीम की रिपोर्ट से तमाम शुबहात की तौसीक़ होगई है। उन्हों ने किसी शख़्स या मुल्क को मौरिद इल्ज़ाम क़रार नहीं दिया लेकिन ये तस्लीम किया कि इस अज़ीम क़ाइद के कई दुश्मन थे।

उनकी मौत के लिए इसराईल को ज़िम्मेदार क़रार दिया जा रहा है लेकिन हुकूमत इसराईल ने उस की तरदीद की।