यूपीएससी सिविल सेवा इम्तेहान में बिहार ने अपनी हुनर का लोहा मनवाया

पटना 4 मई : सिविल सर्विस इम्तेहान में बिहार के तालिब इल्मों ने अपनी हुनर का लोहा मनवाया है। आधा दर्जन से ज्यादा तालिब इल्मों ने बेहतर रैंक हासिल किया है। इसमें साइकिल दुकान चलानेवाले के बेटे से लेकर किसान और आगनबाडी खिदमत गुज़ार के बेटे भी शामिल हैं।

समस्तीपुर जिले के भीडहा गांव के अजीत कुमार ने 26वां मकाम हासिल किया है। दो साल पहले वह आइपीएस के लिए सेलेक्शन हुए थे। उनकी बीवी मंजुला राय इनकम टैक्स कमिश्नर हैं, जो फिलहाल नागपुर में ट्रेनिंग ले रही हैं। वाल्दा प्रमिला राय टीचर हैं।

दरभंगा में बीएसएनएल के आला इंतेजामिया आरआर झा के बीटा सत्येंद्र कुमार को 71वां मुकम हासिल हुआ। दिल्ली यूनिवर्सिटी से बी कॉम करने के बाद सत्येंद्र ने सेवाकर महकमा कोलकाता में शराकात दिया।

सत्येंद्र ने बताया कि तैयारी के लिए मैंने बाकायदगी तौर से छह घंटे मेहनत की। सुपौल के सुब्रत कुमार सेन ने 93वां व मधेपुरा के आदित्य कुमार आनंद ने 96वां मुकाम हासिल किया है। सुब्रत के पिता सुपौल के सिंगराही में साइकिल की दुकान चलाते हैं। दिल्ली के भीमराव आंबेडकर कॉलेज से ग्रेजुएट करने के बाद सुब्रत फिलहाल मध्यप्रदेश में बैंक ऑफ इंडिया में पीओ हैं। भागलपुर के प्रशांत आनंद को 125वां रैंक मिला हैं। इनके वालिद प्रमोद कुमार झा वकील हैं, जबकि वाल्दा पूनम कुमार टीचर हैं। प्रशांत ने भागलपुर इंजीनियरिंग कॉलेज से इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्यूनिकेशन में डिस्टिंक्शन मार्क्‍स के साथ इंजीनियरिंग की है। बांका जिले के अमरपुर के डुमरामा के अभिनव को 207 रैंक मिला है। आइआइटी, खड़गपुर से एमटेक अभिनव के शौहर अजय कुमार चक्रवर्ती तालीम महकमा के रिटायर्ड क्लर्क हैं। बांका जिले के ही कटोरिया बाजार के कमलजीत कुमार कमल ने 666वां रैंक हासिल किया है।

किशनगंज के गणेश प्रसाद साहा को 373 वां स्थान मिला है। छोटे कारोबारी का बेटा गणेश ने 2011 में भी अहम् इम्तेहान पास की थी, लेकिन इंटरव्यू में कामयाबी नहीं मिल सकी थी। शेखपुरा के मृत्युंजय श्रीवास्तव को 475वां, जबकि नालंदा के एक किसान के बेटे प्रभाकर प्रप्रभात ने 494वां रैंक हासिल किया है। गुजिस्ता साल भी प्रभाकर को 608वां रैंक मिला था। वह फिलहाल फरीदाबाद में इस बार की टॉपर हरिता वी कुमार के साथ ट्रेनिंग ले रहे हैं। उनकी इच्छा आइपीएस अफसर बनने की है। प्रभाकर की वाल्दा रंजू कुमारी आंगनबाड़ी खिदमत गुज़ार है, जबकि वालिद नालंदा के एकंगरसराय ब्लाक के दाहौर बिगहा गांव में खेतीबारी करते हैं।