हुकूमत की जानिब से मुनाक़िद किए जाने वाले रीवैन्यू इजलास के ज़रीया अराज़ी के तनाज़ात की यकसूई की जा सकेगी । जो देही मुक़ामात पर मुनाक़िद किए जा रहे हैं । इन ख़्यालात का इज़हार रियास्ती वज़ीर मिस्टर डी सिरीधर बाबू ने एक प्रेस कान्फ्रेंस को मुख़ातिब करते हुए किया ।
उन्होंने यलारेडी पेट में मुनाक़िदा रीवैन्यू इजलास में बहैसीयत मेहमान ख़ुसूसी शिरकत की। उन्होंने कहा कि इस तरह के रीवैन्यू इजलास तमाम ज़िला में मुनाक़िद किए जाऐंगे । उन्होंने कहा कि बाज़ देहातों अराज़ियों के तनाज़आत ज़ेर अलतवा हैं ।
उन्होंने कहा कि मुक़ामी देही अफ़राद को इस रीवैन्यू इजलास से इस्तेफ़ादा करते हुए अपने अराज़ियों के मसाइल को हल कर लेना चाहीए । उन्होंने कहाकि देही अवाम एक पैसा भी ख़र्च किए बगै़र अपने अराज़ियों के मसाइल हल करवा सकते हैं ।
गुजिश्ता साल 16 दिसम्बर से 3 जनवरी मुनाक़िदा रीवैन्यू इजलासों के दौरान मजमूई तौर पर 1,14,415 दरख़ास्तें मौसूल हुई थीं और 42 हज़ार तनाज़आत की यकसूई की गई थी । उन्होंने कहा कि मी सेवा प्रोग्राम के ज़रीया अहल ओनर्स को ज़रूरी सर्टीफ़िकेटस जारी किए जाऐंगे और मी सेवा प्रोग्राम का अप्रैल में आग़ाज़ अमल में आएगा और छुटे मरहला के तहत ज़िला में 1500 एकड़ अराज़ी तक़सीम की जाएगी ।
माह अप्रैल में ऐसे मुस्तहिक़ अफ़राद हो अराज़ी से महरूम हैं बाद तहक़ीक़ात पास बुक दिए जाऐंगे । इसके अलावा खवलदारों को भी ज़रई मक़ासिद के लिए बैंकों के ज़रीया क़र्ज़ा जात दिलवाए जाऐंगे । इस मौक़ा पर गर्वनमेंट विहिप मिस्टर आरे पली मोहन और करीमनगर रुकन पार्लीमेंट मिस्टर पूनम प्रभाकर ने भी मुख़ातिब किया । इस मौक़ा पर डिस्ट्रिक्ट कलैक्टर सुमीता सभरवाल और दीगर मौजूद थे।