लंदन की अदालत का फैसलाः पत्नी के साथ सेक्स करना पति का मौलिक मानवाधिकार

लंदन की एक अदालत ने फैसला सुनाते हुए कहा है कि कोई भी पति अपनी पत्नी के साथ शारीरिक संबंध बना सकता है. पत्नी के साथ शारीरिक संबंध बनाना पति का मौलिक अधिकार है. इंग्लैंड और वेल्स हाई कोर्ट के जज सर एपी हेडन ने यह फैसला सुनाया. जस्टिस हेडन ने कोर्ट ऑफ प्रोटेक्शन के एक मामले पर विचार करते हुए यह फैसला सुनाया.

 

खबरों के मुताबिक पत्नी ने पति के साथ सेक्स न करने की बात कही थी. जिसके बाद पति ने अदालत का दरवाजा खटखटाया था. अदालत ने पत्नी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए 20 साल तक संबंध बनाने पर रोक लगा दी थी. कोर्ट के आदेश के बाद पति ने ऊपरी अदालत का दरवाजा खटखटा था.

 

अखबार के मुताबिक फैसला सुनाते हुए जज ने कहा कि पति को अपनी पत्नी के साथ यौन संबंध रखने का अधिकार है. उन्होंने कहा कि किसी को अधिकार नहीं कि वह इस पर निगरानी कर सके. कोर्ट के फैसले को लेकर लेबर पार्टी के सासंद ने सवाल उठाया.

 

लेबर पार्टी के सांसद ने कहा ब्रिटेन में किसी भी व्यक्ति को सेक्स के लिए जोर देना कोई कानूनी अधिकार नहीं है. ऐसे में अगर कोई पति पत्नी की मर्जी के बिना सेक्स करे तो उसका मतलब रेप माना जाए. वहीं एक अन्य महिलावादी ब्लॉगर ने कहा कि सेक्स कोई मानव अधिकार नहीं है.

 

कोर्ट के फैसले के बाद कई लोगों ने असहमति जताई. कुछ लोगों ने इस फैसले को लेकर कहा कि पत्नी के साथ संबंध बनाना किसी भी पति का मूल अधिकार नहीं है.