हिंदुस्तानी बैटस्मेन शेखर धवन ने कहा कि आज नए क़वाइद मुतआरिफ़ किए जाने के बाद वन्डे मैचस में बड़ा स्कोर करना आसान नहीं रहा।
शेखर धवन ने वीरेंद्र सहवाग और गौतम गंभीर के बाद अपनी ज़िम्मेदारी सही ढंग से निभाई है और उन्होंने कल के मैच में भी करियर का बेहतरीन 116 रंस स्कोर करते हुए हिंदुस्तान को ज़िम्बाब्वे के ख़िलाफ़ मुतवातिर दूसरी कामयाबी दिलाई। उन्होंने कहा कि उस वक़्त नए क़वाइद मुतआरिफ़ होने के बाद बड़ा स्कोर खड़ा करना काफ़ी मुश्किल होगया है क्योंकि दोनों तरफ़ से नई गेंदों का सामना करना होता है।
जब गेंद सुइंग होती है तो बैटस्मेन को काफ़ी एहतियात बरतने पड़ती है। इन दिनों आम तौर पर ये देखा जा रहा है कि इबतिदाई 10 ओवर्स में ओपनर्स उतने रंस स्कोर नहीं कर पारहे है जो आम तौर पर किया करते थे और उसकी वजह नई गेंद है। उन्होंने कहा कि नई गेंद काफ़ी सुइंग करती है और बैटस्मेन को एहतियात बरतनी होती है।
दिल्ली के बाएं हाथ के बेटसमेन् ने कहा कि इनिंगस के आग़ाज़ पर नई गेंद के साथ काफ़ी एहतियात बरतनी होती है। शॉर्ट का स्लैक्शन काफ़ी एहमियत का हामिल होता है तो क्योंकि इब्तिदा-ए-ही में हम विकेटस् खोने की ग़लती नहीं करसकते वर्ना माबकी टीम पर दबाव बढ़ जाता है। धवन ने बताया कि यहां सारे खिलाड़ियों का एक ही ड्रेसिंग रुम है जिस की वजह से उन्हें फिल्ड के बाहर भी एक दूसरे के साथ अपने तजुर्बात बयान करने का मौक़ा मिलता है।