शर्मनाक:फीस जमा न करने पर आदिवासी छात्रा को स्कूल से निकाला

पटना: बिहार के गम्हरिया में एक निजी स्कूल प्रबंधन ने कक्षा तीन के एक आदिवासी छात्रा लक्ष्मी हांसदा को सिर्फ इसलिए स्कूल से निकाल दिया क्योंकि उसके मां बाप शुल्क जमा नहीं कर पाए.

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नेशनल दस्तक के अनुसार स्कूल प्रबंधन का कहना है कि उस लड़की ने फीस नहीं जमा किया इसलिए हमने उसे स्कूल से से निकाला है. वैसे तो देश की सरकारों ने कागजों पर बच्चों को शिक्षित करने के लिए ढेर सारी योजनाएं चलाई हैं लेकिन जब जमीनी हकीकत देखें तो सच्चाई कुछ और ही नज़र आती है. इस मुद्दे पर राजद प्रदेश महासचिव अर्जुन यादव ने कहा कि एक ओर सरकार लड़कियों की शिक्षा के लिए ढेर सारी योजनाएं चला रही है, निजी स्कूलों में भी गरीब छात्रों के लिए आरक्षण की बात करती है, वहीं दोसरी तरफ मुख्यमंत्री के गृह जिले से सटे सरायकेला में आदिवासी व बीपीएल परिवार की छात्रा को शुल्क जमा नहीं करने पर स्कूल से बाहर कर दिया गया है.

जबकि सरकार निजी विद्यालयों में भी एससी, एसटी और बीपीएल परिवार के लिए पांच फीसद बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा देने का प्रावधान रखा है. जिला उपायुक्त समेत राज्य के शिक्षा मंत्री से मामले की जांच कर प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है.

इस मुद्दे पर राजद प्रदेश महासचिव अर्जुन यादव ने कहा कि एक ओर सरकार लड़कियों की शिक्षा के लिए ढेर सारी योजनाएं चला रही है, निजी स्कूलों में भी गरीब छात्रों के लिए आरक्षण की बात करती है, वहीं दोसरी तरफ मुख्यमंत्री के गृह जिले से सटे सरायकेला में आदिवासी व बीपीएल परिवार की छात्रा को शुल्क जमा नहीं करने पर स्कूल से बाहर कर दिया गया है, जबकि सरकार निजी विद्यालयों में भी एससी, एसटी और बीपीएल परिवार के लिए पांच फीसद बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा देने का प्रावधान रखा है. जिला उपायुक्त समेत राज्य के शिक्षा मंत्री से मामले की जांच कर प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है.