शहर और अज़ला में डेंगू वाक़ियात में इज़ाफ़ा तश्वीशनाक

तेलंगाना बिलख़ुसूस हैदराबाद में इन दिनों डेंगू के वाक़ियात में इज़ाफ़ा, आलूदा पानी पीने से शहरियों में मुख़्तलिफ़ बीमारीयों की शिकायात आम हो रही हैं। हुकूमते तेलंगाना ने डेंगू केसों के वाक़ियात पर क़ाबू पाने और उनकी निगरानी के लिए फीवर हॉस्पिटल के सुपरिटेंडेन्ट डॉक्टर के शंकर को नोडल ऑफीसर की हैसियत से मुक़र्रर किया है ताकि रियासत में डेंगू के वाक़ियात का पता चला कर उस के सद्दे बाब की कार्रवाई कर सकें।

वज़ीरे सेहत डॉक्टर सी लक्शमा रेड्डी ने सेक्रेट्रीएट में इस ख़ुसूस में एक जायज़ा इजलास मुनाक़िद किया था। शहर और अज़ला में डेंगू मच्छर की अफ़्ज़ाइश को रोकने के इक़्देमात पर ज़ोर दिया गया।

इजलास में कमिशनर ख़ान्दानी बहबूद बुद्धा प्रकाश, डायरेक्टर मेडिकल एजूकेशन डॉक्टर रमानी, डायरेक्टर हेल्थ डॉक्टर ललीता कुमारी, कमिशनर तेलंगाना वैद्या विधाना परिषद डॉक्टर के वीना कुमार, सी ई ओ आरोग्य श्री हेल्थ केयर ट्रस्ट डॉक्टर एम चन्द्र शेखर राव, मैनेजिंग डायरेक्टर तेलंगाना मेडिकल सर्विस और इन्फ़्रास्ट्रक्चर डेवलप्मेंट कारपोरेशन डॉक्टर वेनू गोपाल राव ने शिरकत की।

रियासत में डेंगू से मुताल्लिक़ा 1540 के मुश्तबा केसों में से 240 केस डेंगू के पॉज़िटिव पाए गए। जनवरी 2015 से अब तक डेंगू से मुतास्सिरा मरीज़ों की तादाद में इज़ाफ़ा ने महकमा सेहत की लापरवाही और हुकूमते तेलंगाना के इक़्देमात में कोताही को अयाँ कर दिया है।

डेंगू के फैलाव को रोकने के लिए फ़ौरी कार्रवाई करने से मुताल्लिक़ बात करते हुए डॉक्टर के शंकर ने कहा कि हुकूमत ने डेंगू पर क़ाबू पाने के लिए फ़ौरी हिदायात जारी कर दीए हैं।

बारिश के मौसम में होने वाली बीमारियों के बारे में उन्होंने कहा कि इस की अलामतों में कय होना, बीमारी या कमर दर्द महसूस करना, पेट में जलन, खट्टे ढकार और बदहज़मी के साथ हाथ पैरों में खिचावट, सर में दर्द और बुख़ार शामिल है।

इस से अवामुन्नास को बाहर के खाने से गुरेज़ करना चाहीए ख़ासकर बच्चों को बाहर का खाना खाने से रोकना वालिदैन की ज़िम्मेदारी है।