सऊदी और विदेशी राजदूतों को मारने की ईरानी प्रयास!

इराक: इराक में सऊदी राजदूत तामर अल सुबहान ईरान के अनुयायी मलीशियओं के हाथों मारे जाने की कोशिश नाकाम किए जाने के खुलासे ने ईरानी प्रणाली से राजदूतों और राजनयिकों के खिलाफ अपराधों के लिए प्रतिबद्ध का सिलसिला याद दिला दिया।

इससे पहले 2011 में वाशिंगटन में उल्लिखित सऊदी राजदूत आदिल अलजबीर की भी मारने की कोशिश का खुलासा हुआ था। इस प्रयास में भी ईरानी प्रणाली का शामिल होना साबित हुआ था। न्यूयॉर्क की अदालत ने इस साजिश में भागीदार दो लोग मंसूर अरबाब सियार और गुलाम शकूर के नाम से पर्दा उठाया था। मंसूर को गिरफ्तार करने के बाद 25 साल कैद की सजा सुनाई गई थी जबकि गुलाम शकूरी की ईरानी गार्ड इन्कलाब का अधिकारी है वह इस समय ईरान में मौजूद है और अमेरिकी न्यायपालिका को आवश्यक है।

ईरान 1989-90 की अवधि के दौरान थाईलैंड में चार सऊदी राजनयिक की हत्या में शामिल रहा। 1989 में ईरानी प्रणाली ने लेबनान में कई अमेरिकी राजनयिकों के अपहरण और हत्या करा दिया।

ईरानी प्रणाली राजनयिक मिशनों के अपमान का भारी भरकम रिकॉर्ड रखता है। 1979 में तेहरान में अमेरिकी दूतावास पर धावा बोला गया और वहां मौजूद लोगों को 444 दिनों तक बंधक बनाकर रखा गया। इसके बाद 1987 में सऊदी और कुवैती दूतावासों, 1988 में रूसी दूतावास, 2007 में कुवैती राजनयिक, 2009 में पाकिस्तानी दूतावास 2011 में ब्रिटिश दूतावास और अंतिम घटना में 2016 में तेहरान में सऊदी दूतावास मशहद में उसके वाणिज्य घर को हमले का निशाना बनाया गया।