प्रदेश कांग्रेस कमेटी के साबिक़ सदर डी श्रीनिवास ने आज कहा कि सदर जमहूरीया परनाब मुखर्जी को मसला तेलंगाना के ताल्लुक़ से कुछ भी बताने की ज़रूरत नहीं है क्यूंकि वो ख़ुद तक़सीम रियासत के अमल से मुताल्लिक़ हर चीज़ से वाक़िफ़ हैं।
मीडिया से बात चीत करते हुए डी श्रीनिवास ने कहा कि सीमांध्र के क़ाइदीन को चाहीए कि वो तेलंगाना रियासत की तशकील के अमल में रुकावटें पैदा ना करें लेकिन वो सदर जमहूरीया और वज़ीर आज़म से रुजू होते हुए उनके कुछ मसाइल हूँ तो उन को उजागर करसकते हैं।
उन्होंने कहा कि ज़रूरत इस बात की है कि तेलंगाना इलाके से ताल्लुक़ रखने वाले अवाम के जज़बात का एहतेराम किया जाये। तेलंगाना के अवाम 1956 से जब हैदराबाद रियासत को आंध्र इलाके में ज़म किया गया था मुतालिबा कर रहे हैं कि अलाहिदा रियासत तेलंगाना तशकील दी जाये।
ये इद्दिआ करते हुए हैदराबाद शहर तेलंगाना इलाके का अटूट हिस्सा है मिस्टर डी श्रीनिवास ने कहा कि हैदराबाद को मर्कज़ी ज़ेर इंतेज़ाम इलाक़ा क़रार देने का मुतालिबा दरुस्त नहीं है।
उन्होंने कहा कि दस्तूर के मुताबिक़ हैदराबाद में कोई भी क़ियाम करसकता है जो तेलंगाना रियासत का दारुउल हुकूमत होगा। सीमांध्र क़ाइदीन को तेलंगाना अवाम के जज़बात-ओ-एहसासात का एहतेराम करना चाहीए।
रियासती असेंबली में तेलंगाना बिल पर मुबाहिस पुरसुकून अंदाज़ में मुकम्मिल किए जाने चाहिऐं और सदर जमहूरीया ने जो मोहलत दी है इस के अंदर जवाब रवाना करदिया जाना चाहीए।
डी श्रीनिवास ने याद दहानी करवाई कि तेलंगाना के अरकाने असेंबली मुबाहिस में हिस्सा लेने तैयार हैं। उन्होंने इद्दिआ किया कि 2014 के चुनाव तेलुगु बोलने वाली दो रियासतों में मुनाक़िद होंगे। उन्होंने कहा कि उनके ख़्याल में किसी के लिए भी ये मुम्किन नहीं है कि वो रियासत तेलंगाना की तशकील को रोक सके।