इस्लामाबाद: भारतीय सेना द्वारा उरी हमलों के जवाब में पीओके में की गई सर्जिकल स्ट्राइक से बौखलाया पाक इस वक़्त बेतुकी बयानबाज़ी और अधिकारियों की फेरबदल में लगा हुआ है। एक तरफ जहाँ आतंकी अड्डों को ख़त्म करने की भारत द्वारा की गई कोशिश को विश्वस्तर पर समर्थन मिल रहा है वहीँ पाकिस्तान पर दुनिया के बड़े-बड़े देशों द्वारा अपनी जमीन पर पल रहे आतंकी नेटवर्क खत्म करने का दवाब भी बढ़ता जा रहा है।
भारत द्वारा पीओके में की गई कामयाब सर्जिकल स्ट्राइक से जहाँ पाकिस्तानी ज़मीन पर आतंकी नेटवर्क होने की बात को पूरी दुनिया के सामने रखा जा चूका है वहीँ पाकिस्तान खुद पर हुए इस हमले का गुस्सा अपने देश की खुफिया एजेंसी आईएसआई पर उतार रही है। पाकिस्तानी अखबार द नेशन ने एक सुरक्षा अधिकारी के हवाले से जानकारी दी है कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी इंटर सर्विस इंटेलिजेंस के चीफ लेफ्टिनेंट जनरल रिजवान अख्तर को सरकार आने वाले हफ्तों में हटाने की तैयारी में है।
अख्तर को साल 2014 के सितंबर में बतौर आईएसआई चीफ नियुक्त किया गया था। पाकिस्तान में आईएसआई चीफ की नियुक्ति सामान्य तौर पर तीन साल के लिए होती है। लेकिन अगर सरकार या आर्मी चीफ उसके काम से संतुष्ट नहीं हैं तो उन्हें इस पोस्ट से हटाया जा सकता है। बताया जा रहा है कि जनरल रिजवान के जाने के बाद कराची के कॉर्प्स कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल नवीद मुख्तार बतौर आईएसआई चीफ उनकी जगह ले सकते हैं।