अक़वामे मुत्तहिदा सलामती कौंसिल की इस्लाह की ज़रूरत पर ज़ोर देते हुए हिंदुस्तान ने कहा है कि उस की रुक्नीयत में तौसीअ नागुज़ीर है ताकि इस आलमी इदारा को काबिले भरोसा बनाया जा सके और इस इदारा पर बैनुल अक़वामी बिरादरी के बदस्तूर एतेमाद को यक़ीनी भी बनाया जाए।
रुक्न पार्लीयामेंट अश्वनी कुमार ने कल यहां सेक्यूरिटी कौंसिल में काम काज के तरीकों के बारे में खुले मुबाहिस में कहा कि सलामती कौंसिल के काम काज में माक़ूल इस्लाह दरकार है और इस ज़िमन में कौंसिल की रुक्नीयत में जामे इस्लाह ज़रूरी है जो मुस्तक़िल और ग़ैर मुस्तक़िल दोनों ज़ुमरों में तौसीअ के ज़रीए ही की जा सकती है।
उन्हों ने कहा कि ये इक़दाम इस इदारा के एतबार को बढ़ाने और इस पर बैनुल अक़वामी बिरादरी के बदस्तूर एतेमाद की बरक़रारी के लिए नागुज़ीर है।