साबिक़ा हुकूमत के अहम फैसलों की फाईलें गवर्नर ने तलब करलीं

रियासती गवर्नर ई एस एल नरसिम्हन ने नज़म-ओ-नसक़ पर अपनी गिरिफ़त मज़बूत करने के इक़दामात शुरू करदिए हैं।

उन्होंने किरण कुमार रेड्डी हुकूमत के स्तीफ़ा से पहले लीए गए तमाम अहम फ़ैसलों से मुताल्लिक़ फाईलों को तलब किया है और इस सिलसिले में चीफ़ सेक्रेटरी डॉ.पी के मोहंती को हिदायत दी कि तमाम मह्कमाजात की अहम फाईलें उन्हें पेश की जाएं।

जनवरी 2014 के बाद किरण कुमार रेड्डी ने सरकारी ओहदों पर तक़र्रुत के सिलसिले में जो फ़ैसले किए थे उन फाईलों पर ख़ुसूसी तवज्जा मर्कूज़ की गई है।

ज़राए ने बताया कि गवर्नर की हिदायत के बाद चीफ़ सेक्रेटरी ने तमाम मह्कमाजात के प्रिंसिपल सेक्रेटरीज़ को हिदायत दी कि वो अपने महिकमा के जनवरी के बाद के फ़ैसलों से मुताल्लिक़ फाईलें रवाना करें।

तक़र्रुत-ओ-रुकमी मंज़ूरियों के अलावा दुसरे पालिसी फ़ैसलों से मुताल्लिक़ फाईलें तमाम मह्कमाजात से तलब की गई हैं। ज़राए के मुताबिक़ चीफ़ सेक्रेटरी ने मह्कमाजात को हिदायत दी कि वो किसी फाईल की यकसूई से पहले उन से मंज़ूरी हासिल करलीं।

किसी भी मुआमला में फ़ैसला लेने से पहले फाईल को चीफ़ सेक्रेटरी के पास रवाना किया जाये और अगर वो फाईल की एहमीयत के एतेबार से ज़रूरी समझें तो उसे गवर्नर को रवाना करेंगे। दुसरे

चीफ़ सेक्रेटरी की हिदायत के मुताबिक़ महिकमा अक़लियती बहबूद ने भी तक़र्रुत और दुसरे अहम फाईलें चीफ़ सेक्रेटरी को रवाना करने की तैयारी की है। जनवरी के बाद चीफ़ मिनिस्टर की तरफ से किए गए तक़र्रुत-ओ-दुसरे अहम फ़ैसलों से मुताल्लिक़ फाईलों की निशानदेही की जा रही है।

महिकमा अक़लियती बहबूद ने हज कमेटी से मुताल्लिक़ फाईल को महिकमा क़ानून से रुजू किया है ताकि सदर नशीन के इंतिख़ाब पर राय हासिल की जा सके। क़वाइद के मुताबिक़ कमेटी के एलान के अंदरून 40 दिन नए सदर नशीन का इंतिख़ाब किया जाना चाहीए। अब जबकि हुकूमत मौजूद नहीं और बलदी चुनाव के लिए ज़ाबता अख़लाक़ नाफ़िज़ होचुका है लिहाज़ा 40 दिन की मुद्दत में सदर नशीन हज कमेटी का इंतिख़ाब मुम्किन नहीं लिहाज़ा इस पर महिकमा क़ानून से राय तलब की गई है।