किशनबाग़ अर्श महल के फ़िर्कावाराना तशद्दुद के एक माह बाद आज राजेंदरनगर पुलिस ने सिख तबके के पर्चम को नज़र-ए-आतिश करने के केस में मुक़ामी स्क्रैप के कारोबारी मुहम्मद जहांगीर को गिरफ़्तार करलिया।
हैरत की बात ये हैके इस तशद्दुद में बी एस एफ़ फायरिंग में तीन मुस्लमान जांबाहक़ और 17 अफ़राद ज़ख़मी होने के बावजूद राजेंदरनगर पुलिस ने सिख अश्रार को मुहम्मद जहांगीर के ख़िलाफ़ चशमदीद गवाह बनाया है।
डिप्टी कमिशनर पुलिस शम्सआबाद ज़ोन रमेश नायडू प्रेस कांफ्रेंस से ख़िताब करते हुए बताया कि 13 और 14 जून की दरमयानी रात को सिख छावनी अर्श महल में मुक़ामी स्क्रैप का ताजिर मुहम्मद जहांगीर स्क्रैप ताँबा के तारों को पिघलाने की कोशिश कर रहा था कि इत्तिफ़ाक़न इस के मकान के क़रीब मौजूद निशान साहिब जुज़वी तौर पर झुलस गया।
पुलिस ने दावा किया हैके जहांगीर ने लापरवाही से स्क्रैप के तार को जला रहा था, जिस के सबब ये वाक़िया पेश आया। पुलिस ने ये भी दावा किया हैके निशान साहिब को जुज़वी तौर पर झुलस जाने के दौरान जहांगीर ने आग को क़ाबू में लाने की कोशिश की लेकिन वहां के मुक़ामी अफ़राद नानक सिंह और बहादुर सिंह ने उसकी इस हरकत को देख लिया था। सिख तबक़ा की ब्रहमी के ख़दशे के पेशे नज़र मुहम्मद जहांगीर अपने अफ़रादे ख़ानदान के साथ फ़रार होगया जबकि पुलिस ने सिख अश्रार की तरफ से मुक़ामी मुसलमानों पर तलवारों से हमला करने और मकानात को नज़र-ए-आतिश करने के वाक़िये में मज़कूरा अफ़राद के ख़िलाफ़ कार्रवाई की थी और वो कई मुक़द्दमात में शामिल होने पर गिरफ़्तार कर के जेल भेज दिया गया और वो हनूज़ महरूस हैं।