सिमी के साबिक़ सदर-ओ-जनरल सेक्रेटरी मंसूबा इल्ज़ामात से बरी

स्टूडेंट इस्लामिक मूवमेंट आफ़ इंडिया ( सिमी) पर मर्कज़ी हुकूमत की तरफ से इमतिना आइद करने के बाद दर्ज किए गए मुक़द्दमात में साबिक़ा सिमी के सदर अतहर क़ुरैशी और जनरल सेक्रेटरी अहमद हुसैन को यहां की मुक़ामी अदालत ने बरी कर दिया।

28 सितंबर 2001 में सिमी पर इमतिना के बाद मुल्क भर में सिमी अरकान पर मुक़द्दमात दर्ज किए गए थे और इस सिलसिले में हैदराबाद पुलिस ने भी तंज़ीम के अरकान पर मुक़द्दमा दर्ज करते हुए उन्हें गिरफ़्तार करलिया गया था।

29 सितंबर 2001 को चादरघाट पुलिस ने उस वक़्त के सिमी के सदर अतहर क़ुरैशी, अहमद हुसैन जनरल सेक्रेटरी और मौलाना मुहम्मद नसीरुद्दीन के फ़र्ज़ंद मुक़ीमुद्दीन यासर के अलावा जाविद अमीन को गिरफ़्तार किया था, इस केस में सिर्फ़ अतहर क़ुरैशी और अहमद हुसैन पर मुक़द्दमा चलाया गया जबकि मुक़ीमुद्दीन यासर तवील अर्सा तक इंदौर मध्य प्रदेश जेल में महरूस रहने और जाविद अमीन मफ़रूर रहने के बाइस इन दोनों को मुक़द्दमा से अलाहिदा कर दिया गया।

नामपली क्रीमिनल कोर्ट के 14 वीं ऐडीशनल चीफ़ मेट्रो पोलीटन ने वकील दिफ़ा अज़ीमुद्दीन ऐडवोकेट और ख़ालिद सैफ़‍उल्लाह की पैरवी के बाद अपने फ़ैसले में दोनों मुल्ज़िमीन को इल्ज़ामात से बरी कर दिया। वाज़िह रहे कि उस वक़्त के डिप्टी कमिशनर पुलिस साउथ ज़ोन एस ओमा पत्ती इस केस में शिकायत दर्ज करवाई थी।