सोनू मोहम्मद और शीलम कुमारी की प्रेम कहानी लोशों में जल कर हुई खाक

आगरा : आगरा में श्री राम किशन इंटर कॉलेज में वह दोनों पढ़ते थे। दोनों का मज़हब अलग-अलग था एक मुस्लिम तो दूसरा हिन्दू.17 साल की शीलम कुमारी ने स्कूल में एडमिशन लिया। 11वीं कक्षा में पढ़ने वाली शीलम सोनू मोहम्मद की जूनियर थी। दोनों के बीच पहली बार बात स्कूल में हुई और देखते ही देखते वह बातचीत कब प्यार क रंग ले लिया किसी को पता ही नहीं चल पाया दोनों ने लगभग दो साल भर तक अपने रिश्ते को दोस्तों और परिवार से छिपाकर रखने में कामयाब भी रहे। फिर अचानक 14 मई को को दोनों की लाशें सोनू मोहम्मद के कमरे में मिली.

शीलम के पिता एलपीजी सिलिंडर लाने के लिए 800 रुपए दिए थे। बिना किसी को बताए शीलम और सोनू स्कूल में मिले और आगरा छोड़ने का फैसला किया। स्कूल में एग्जाम चल रहे थे. करीब 11 बजे, मोहम्मद वकील खान के पास स्कूल से फोन आया। कि उसका बेटा सोनू एग्जाम देने नहीं पहुंचा। जब वे स्कूल पहुंचे तो पता चला कि मोटरसाइकिल पर शीलम के साथ कहीं सोनू को कहीं जाते हुए दिखा गया था। कुछ सौ रुपए साथ लिए सोनू और शीलम पहले अजमेर गए, फिर हैदराबाद। चार दिन में सारे पैसे खत्म हो गए, तो सोनू ने सुबह-सुबह घर फोन किया।

वकील खान के अनुसार, “उसने पूछा कि अगर वो घर लौटेगा तो क्या उसकी पिटाई होगी। सोनू ने ये भी कबूला कि शीलम उसके साथ है।”25 मार्च की शाम को सोनू और शीलम घर लौट आए। घरवालों ने मामला पुलिस तक नहीं पहुंचने दिया। सोनू और शीलम को स्कूल छोड़ने पर मजबूर किया गया।9 मई को रामू नाई ने घर के बड़े-बुजुर्गों के कहने पर शीलम की शादी पास के ही एक व्यक्ति से तय कर दी। शादी के पांचवें दिन वो अपने मायके वापस लौटी। रामू के मुताबिक शीलम बहुत खुश थी।

शीलम के लौटने के बाद उसी दिन रात में, रामू अपने घर में बाहर से दरवाजा बंद कर छत पर सोने चला गया। उसकी पत्नी और बच्चे अंदर ही थे। पुलिस के मुताबिक, शीलम आधी रात को सोनू के घर गई। सोनू के माता-पिता आंगन में सो रहे थे। बिना किसी की नजर में आए शीलम पहली मंजिल पर बने सोनू के कमरे की तरफ बढ़ी।सुबह करीब 4 बजे उन्होंने खुद पर केरोसीन छिड़ककर आग लगा ली।”

जब घरवालों ने कमरे से धुआं उठता देखा तो उन्हें लगा कि सोनू ने दिल टूटने की वजह से खुदकुशी कर ली है। जब पुलिस ने दीवार तोड़ी तब पता चला कि कमरे में दो लोग थे।शीलम के पिता को सोनू के घर के बाहर जुटती भीड़ कर समझने में ज्यादा देर नहीं लगी कि उनकी बेटी गायब थी।

आने-जाने वाले लोग इस बात पर बहस कर रहे हैं कि कि “बच्चों को प्यार करने की ऐसी सजा मिलनी चाहिए थी या नहीं” इस बात के जवाब में सोनू के पिता वकील खान कहते हैं, “जब तैरना नहीं आता तो पानी के नजदीक जाने की जरूरत क्या है।”