हुकूमत अब बिहार रियासती हज कमेटी को हर साल 75 लाख रुपये देगी। हुकूमत फलहाल कमेटी को 40 लाख रुपये दे रही है। सुन्नी वक्फ बोर्ड को 50 लाख की जगह 1.50 करोड़ जबकि शिया वक्फ बोर्ड को 20 लाख रुपये की जगह 80 लाख रुपये हुकूमत देगी।
मजकुरह एलान वजीरे आला जीतन राम मांझी ने मंगल की शाम हज जाने के उज़रा की साबिक़ शाम पर मुनक्कीद दुआ ए मजलिश को खिताब करते हुए कहीं।
आजमीने हज बुध की सुबह पांच बजे हज हाउस से गया के लिए रवाना होंगे। गया एयरपोर्ट से वजीरे आला सुबह 10.30 बजे 122 हज जायरीन को मदीना के लिए रवाना करेंगे। वजीरे आला ने कहा कि मुल्क के सबसे अच्छे हज हाउस के तौर में हमारी पहचान बने। हज भवन के रखरखाव व हुस्नकारी के लिए भी हुकूमत हर मुमकिन मदद देगी। हुस्नकारी के लिए लाइटिंग की बंदोबस्त सैयाहत महकमा कर रहा है।
अमन चैन के लिए करें दुआ
आपकी खुशगवार सफर के लिए हम दुआ करते हैं। आपका मकसद पूरा हो। सीएम ने कहा कि हम सबको चाहिए कि हम सब आपस में भाईचारा बना कर रखें। एक-दूसरे के मजहब का इज्ज़त करें। इत्तिला मिली है कि रियासत से कम ही हज के लिए जा पाते हैं। कमेटी का टारगेट है कि हर साल कम से कम दस हजार लोग हज पर जायें। हालांकि इस साल 6667 ही हज्ज के लिए जा रहे हैं। दीगर रियासतों से यह तादाद ज़्यादा है। हमने एयर इंडिया के अफसरों से इस मुतल्लिक़ बात की है कि मदीना के लिए फ्लाइट बढ़ाई जाये। हम चाहते हैं कि हदफ़ अगले साल पूरा हो।
अक्लियती बोहबुद वज़ीर नौशाद आलम, फूड और सारफीन की तहफ्फुज के वज़ीर श्याम रजक, रियासती हज कमेटी के सदर मौलाना अनिसुर रहमान कासमी, इमारत शरिया के नाजिम मौलाना निजाम उद्दीन कासमी, वज़ीर जावेद इकबाल अंसारी, मदरसा बोर्ड के चेयरमैन मुमताज आलम, अक़लियत महकमा के चेयरमैन नौशाद अहमद और अक़लियत महकमा के प्रिन्सिपल सेक्रेटरी आमिर सुबहानी मौजूद थे। हजरत अमीरे शरीयत के सैयद मौलाना निजामुद्दीन ने दुआ करायी। मौके पर बड़ी तादाद में हज मुसाफिर और मुसलिम भाई दुआ में शामिल हुए। मीडिया इंचार्ज नवाब अतिकुज्जमां ने बताया कि हज जायरीन के साथ पटना से एस्कॉर्ट भी जायेगा।