हदीस शरीफ

हजरत अबू हुरैरा रज़ी अल्लाहु तआला अन्हो से रिवायत है के रसूल-ए-पाक (स०) ने फ़रमाया किसी औरत को ये जाएज़ नहीं के वो अपने शौहर की इजाज़त के बगैर रोज़ा रखे या बिला इजाज़त किसी दुसरे के घर में जाए या बगैर इजाज़त किसी को कुछ दे। (बुखारी शरीफ)